Bihar Elections 2025 Violence: बिहार के मोकामा में चुनाव प्रचार के दौरान चर्चित ओबीसी नेता दुलारचंद यादव को गोली मार दी गई और वाहन से कुचल दिया गया। शुक्रवार को एक और हमला हुआ। इस घटना से मोकामा में तनाव बढ़ गया है।
मोकामा में लोकप्रिय ओबीसी नेता दुलारचंद यादव की हत्या कर दी गई
बिहार के मोकामा में तनाव बढ़ गया है। मोकामा में गुरुवार को आरजेडी नेता दुलार चंद यादव की बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। शुक्रवार को उनके अंतिम संस्कार में भारी भीड़ थी। तमाम पार्टियों के नेता मौजूद थे। जब लोग अंतिम संस्कार के बाद लौट रहे थे तो पंडराक इलाके में आरजेडी प्रत्याशी वीणा देवी के वाहन पर फायरिंग की गई। वीणा देवी उसी आरोपी बाहुबली अनंत सिंह के खिलाफ चुनाव लड़ रही हैं। इस फायरिंग को लेकर भी अनंत सिंह पर आरोप लगा है। वीणा देवी बाहुबली नेता सूरजभान सिंह की पत्नी हैं। मोकामा में तनाव की वजह से भारी पुलिस बल तैनात किया गया है।
इससे बिहार के मोकामा में गुरुवार को चुनाव प्रचार के दौरान बुजुर्ग ओबीसी नेता दुलारचंद यादव की गोली मारकर हत्या कर दी गई। हमले के बाद उन्हें वाहन से कुचला गया। यह घटना तर्तर गांव में हुई, जब यादव प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी के उम्मीदवार के लिए प्रचार कर रहे थे। दुलारचंद यादव आरजेडी नेता थे और काफी पहले मोकामा विधानसभा सीट से चुनाव भी लड़ चुके थे। 
घटना से राज्य में विधानसभा चुनाव से कुछ दिन पहले तनाव बढ़ गया है। हत्या का आरोप जेडीयू के अनंत सिंह और उनके समर्थकों पर लगा है। पुलिस ने अनंत सिंह और उनके साथियों के खिलाफ केस दर्ज किया है।
दुलारचंद यादव लंबे समय से आरजेडी में थे और लालू प्रसाद यादव के नजदीकी लोगों में माने जाते थे। वो मोकामा के चर्चित ओबीसी नेताओं में थे। इस बार उन्होंने जनसुराज पार्टी को समर्थन दिया था और उसके प्रत्याशी के समर्थन में जोरशोर से प्रचार कर रहे थे। 
दुलारचंद यादव 1990 से मोकामा टाल क्षेत्र में पिछड़े समाज के सशक्त नेता के रूप में प्रसिद्ध थे। हालांकि बिहार विधानसभा चुनाव 2025 में उन्होंने अपनी राजनीतिक दिशा बदली और जन सुराज पार्टी के प्रत्याशी पीयूष प्रियदर्शी उर्फ लल्लू मुखिया का खुलकर समर्थन किया। वो इस इलाके में अनंत सिंह की गुंडागर्दी के खिलाफ हमेशा खड़े हुए।
पुलिस के अनुसार, यादव को पहले पैर में गोली मारी गई, फिर वाहन से कुचल दिया गया। बाढ़ एडीपीओ अभिषेक सिंह ने कहा, "हम सभी पहलू से जांच कर रहे हैं। हर शिकायत पर कार्रवाई की जाएगी।" पटना के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) कार्यालय के अनुसार, घटना दोपहर 3:30 से 3:40 बजे के बीच हुई। घोसवरी थानाध्यक्ष को तर्तर गांव के निकट जेडीयू और जनसुराज पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच मारपीट की सूचना मिली थी। 
पटना जिला प्रशासन द्वारा सोशल मीडिया पर साझा बयान में कहा गया कि दुलारचंद यादव की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत दो उम्मीदवारों के समर्थकों के बीच झड़प के दौरान हुई। प्रशासन ने बताया कि यादव के खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज थे। पुलिस आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी कर रही है। 
जेडीयू नेता अनंत सिंह पर आरोप 
जेडीयू नेता अनंत सिंह इस मामले में आरोपों में घिर गए हैं। उनके ऊपर जनसुराज पार्टी के प्रत्याशी और स्थानीय नेताओं ने हत्या का आरोप लगाया है। घटना के समय इलाके में प्रचार कर रहे जेडीयू उम्मीदवार अनंत सिंह ने हत्या को साजिश बताया। उन्होंने इसके लिए पूर्व आरजेडी सांसद सूरजभान सिंह (राजद उम्मीदवार वीणा देवी के पति) पर आरोप लगाया।अनंत सिंह ने कहा:  "हम लोगों से मिल रहे थे और वोट मांग रहे थे। रास्ते में दूसरे उम्मीदवार के समर्थकों ने 'मुर्दाबाद' के नारे लगाने शुरू कर दिए। मैंने अपने समर्थकों से जवाब न देने को कहा और आगे बढ़ गया। मेरे पीछे कुछ वाहन थे। सूरजभान पूरी तरह झड़प की तैयारी में था। उसके लोगों ने हमारे वाहनों पर हमला किया। दुलारचंद ने सबसे पहले हाथ उठाया। मेरे समर्थकों के वाहन तोड़े गए।" उन्होंने कहा: "यह सारा खेल सूरजभान सिंह का है।"
प्रशांत किशोर का बयान 
जन सुराज के संस्थापक प्रशांत किशोर ने घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि उनकी पार्टी के नेता मोकामा जा रहे हैं।
उन्होंने कहा:
"हमें सूचना मिली है कि दुलारचंद यादव जी को गोली मारी गई है। जनता बदलाव के लिए तैयार है, बारिश में भी देखिए भीड़। 50 लाख युवा गांव लौटे हैं, बदलाव का संकल्प लेकर। 14 तारीख को बिहार में नया दौर आएगा।"
बाद में प्रशांत किशोर ने मीडिया से बातचीत में कहा कि "वह आधिकारिक तौर पर जन सुराज के सदस्य नहीं थे। वह जन सुराज के आधिकारिक उम्मीदवार पीयूष जी का समर्थन कर रहे थे... लोकतंत्र में हिंसा का कोई स्थान नहीं है। किसी की हत्या प्रशासन और कानून-व्यवस्था के लिए ज़िम्मेदार लोगों की ज़िम्मेदारी है, और यह उनकी विफलता है। 'बाहुबली' किसी भी जाति, समुदाय, गाँव या विचारधारा के हो सकते हैं, लेकिन जो गलत है वह गलत है। मैंने पहले भी कहा है कि बाहुबली, बाहुबलियों से लड़ने से नहीं डरते। वे अच्छे लोगों से लड़ने से डरते हैं। इसलिए, जन सुराज ने जनता को यह विकल्प दिया है। सिर्फ़ मोकामा में ही नहीं, बल्कि बिहार के कई अन्य इलाकों में भी... अब बिहार की जनता पर निर्भर है कि वह साफ़-सुथरे लोगों को चुने या उन्हीं पुराने भ्रष्ट, बाहुबलियों को।"
तेजस्वी ने घटना की निन्दा की
राजद नेता तेजस्वी यादव ने हिंसा की निंदा करते हुए कहा कि चुनाव में शांति बनाए रखनी चाहिए।
उन्होंने कहा:
"चुनाव में हिंसा की कोई जरूरत नहीं है। आचार संहिता लागू है, फिर भी कुछ लोग बंदूक-गोली लेकर घूम रहे हैं। मोकामा में दुलारचंद यादव की हत्या कर दी गई। बिहार पर किस तरह के लोग हावी हो गए हैं? प्रधानमंत्री को आंखें खोलनी चाहिए और लोगों की निराशा देखनी चाहिए। ये हार से डरे हुए लोग हैं।"प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित करते हुए तेजस्वी ने कहा:
"प्रधानमंत्री जी, तेजस्वी की उम्र कच्ची है लेकिन जुबान पक्की है। प्रधानमंत्री 30 साल पुरानी बात करते रहते हैं, लेकिन 30 मिनट पहले जो हुआ उसका क्या? बिहार की जनता इन्हें मुंहतोड़ जवाब देगी।"
मोकामा की घटना बिहार सरकार की कानून व्यवस्था पर सवाल उठा गई है। घटना वाले दिन प्रधानमंत्री बिहार में रैलियों को संबोधित कर रहे थे। जिसमें वो तीन दशक पहले लालू यादव के कथित जंगलराज की दुहाई दे रहे थे। लेकिन पिछले 6 महीनों में बिहार में जिस तरह से अपराध हो रहे हैं, उसने लोगों में दहशत पैदा कर दी है।