कोरोना के कारण हुई मौतों पर मुआवजे के भुगतान में देरी के लिए सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को राज्य सरकारों को फटकार लगाई। सुप्रीम कोर्ट ने अक्टूबर महीने में कोरोना से मरने वाले लोगों के परिवारों को 50,000 रुपये के भुगतान को मंजूरी दी थी। यह राशि उन भुगतान के अलावा दी जानी थी जिसे विभिन्न परोपकारी योजनाओं के तहत केंद्र और राज्य द्वारा भुगतान की गई। कोरोना से मारे गए लोगों के परिजनों को मुआवजा देने के लिए सुप्रीम कोर्ट शुरू से ही सख्त रवैया अपनाए हुए है, लेकिन राज्य सरकारों ने इस मामले में उस तरह की इच्छाशक्ति नहीं दिखाई है।
सुप्रीम कोर्ट की सख्ती पर भी कोरोना मौत का मुआवजा क्यों नहीं दे रहीं सरकारें?
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- 6 Dec, 2021
कोरोना से मौत के मामले में मुआवजा देने में सरकारें कोताही क्यों बरत रही हैं? क्या कोरोना से मारे गए लोगों को परिजनों को मुआवजा दिलाने की ज़िम्मेदारी सुप्रीम कोर्ट की ही है?
अदालत ने इसी साल जून महीने में राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण यानी एनडीएमए को कहा था कि वह कोरोना से हताहत हुए लोगों के परिवार वालों को मुआवजा देने के नियम और राशि तय करे। इससे पहले केंद्र सरकार मुआवजा देने से इनकार कर चुकी थी।