ऐसा लग रहा है कि राहुल गाँधी की बढ़ती लोकप्रियता से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बेचैन हो चुके हैं। बिहार की तरह संसद में ‘वोट-चोर, गद्दी छोड़’ नारे का गूँजना बताता है कि उनकी साख बुरी तरह गिरी है। हाल में आये कुछ सर्वे के नतीजे भी बताते हैं कि बिहार में साठ फ़ीसदी से ज़्यादा लोग राहुल गाँधी के इस आरोप से सहमत हैं कि मोदी सरकार के इशारे पर आयोग वोट चोरी कर रहा है। जबकि ये सर्वे बिहार में भीड़ बटोर रही राहुल की 'वोट अधिकार यात्रा’ शुरू होने से पहले किया गया था।
राहुल से सवाल करने से पहले अपने ‘सक्षम’ नेताओं की बेहाली देखें मोदी!
- विश्लेषण
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- 22 Aug, 2025

प्रधानमंत्री मोदी राहुल गांधी से सवाल उठाते हैं, लेकिन क्या उन्होंने अपने ही सक्षम नेताओं की राजनीतिक स्थिति और चुनौतियों पर ध्यान दिया है? जानिए पूरी सच्चाई।
मोदी का तंज़
21 अगस्त 2025 को, संसद के मॉनसून सत्र के समापन पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने चाय पार्टी दी। पिछली बार इस पार्टी में नेता प्रतिपक्ष बतौर राहुल गाँधी ने हिस्सा लिया था, लेकिन इस बार पूरा विपक्ष ही नदारद था। फिर भी पीएम मोदी राहुल पर तंज़ करने से बाज़ नहीं आये। पीएम मोदी ने कहा, “कांग्रेस में कई प्रतिभाशाली और युवा सांसद हैं, लेकिन नेतृत्व की असुरक्षा के कारण उन्हें बोलने का मौका नहीं मिलता।”