14 दिसंबर को पटना हाई कोर्ट ने राजद के पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव को नाबालिग से रेप के मामले में बरी कर दिया और इस तरह उन्हें लंबे समय की जेल की कैद से रिहाई मिली लेकिन नीतीश कुमार की सरकार ने ऐसा कोई संकेत नहीं दिया कि उनके खिलाफ वह सुप्रीम कोर्ट जाएगी।
रेप के आरोप में जेल में रहे पूर्व एमएलए पर नीतीश सरकार नरम क्यों?
- बिहार
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- 21 Aug, 2025
बिहार की नीतीश सरकार पर सवाल उठ रहे हैं कि रेप के आरोप में जेल जा चुके पूर्व विधायक राजबल्लभ यादव पर कार्रवाई क्यों सख़्त नहीं हुई। क्या यह राजनीतिक दबाव है या क़ानूनी कमजोरी? पढ़ें पूरी रिपोर्ट।

नीतीश कुमार
इस वजह से यह चर्चा शुरू हो गई कि आखिर राजद के एक पूर्व विधायक पर सरकार इतनी नरमी क्यों दिखा रही है। वैसे तो बिहार में भारतीय जनता पार्टी और जनता दल यूनाइटेड के दागी नेताओं की कमी नहीं है लेकिन राजबल्लभ के मामले में राजनीति कुछ इस तरह चल रही है कि उनके जदयू में संभावित तौर पर शामिल होने की अटकलों का बाजार गर्म है। पिछले दिनों आनंद मोहन और अनंत सिंह जैसे दो बाहुबली नेताओं ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ मुलाकात की थी तो सोशल मीडिया में इसकी काफी आलोचना हुई थी।
ऐसे में बहुत से लोग यह सवाल भी कर रहे हैं कि क्या नीतीश कुमार ने राजबल्लभ यादव को ग़लत तरीक़े से फँसाया था या वह उन्हें अब ग़लत तरीक़े से रेप जैसे गंभीर मामले में नरमी दिखाकर अपनी और आकर्षित करने की कोशिश कर रहे हैं। इस बात को समझने में यह जानकारी मददगार होगी कि जदयू के पूर्व एमएलए और नवादा में पार्टी के मज़बूत स्तंभ माने जाने वाले कौशल यादव ने पिछले दिनों आरजेडी का दामन थाम लिया था और वहां नीतीश कुमार की पार्टी एक मजबूत नेता की तलाश में थी। राजबल्लव यादव एक बाहुबली और यादव समाज के प्रभावी नेता माने जाते हैं।