किसान आंदोलन से पंजाब के बाद सबसे ज़्यादा उबल रहा दूसरा राज्य हरियाणा है। हरियाणा की बीजेपी-जेजेपी सरकार किसानों और उनके समर्थकों के निशाने पर है। हालात यह हैं कि बीजेपी-जेजेपी नेताओं का छोटे-मोटे कार्यक्रम करना मुश्किल हो गया है। किसानों की ज़्यादा नाराज़गी जेजेपी से है क्योंकि यह ख़ुद को किसानों, युवाओं की पार्टी बताती है लेकिन अब तक कृषि क़ानूनों के ख़िलाफ़ खड़े होने की हिम्मत नहीं दिखा पाई है।
हरियाणा: अविश्वास प्रस्ताव गिरने से बीजेपी से और नाराज़ होंगे किसान!
- हरियाणा
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- 18 Mar, 2021
किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि अविश्वास प्रस्ताव के गिरने से बीजेपी और उसके सहयोगियों के ख़िलाफ़ किसानों में नफ़रत और ज़्यादा बढ़ेगी।

बीजेपी-जेजेपी विधायकों के ख़िलाफ़ किसानों की बढ़ती नाराज़गी को देखते हुए कांग्रेस हरियाणा का विधानसभा में अविश्वास प्रस्ताव लाई थी। अविश्वास प्रस्ताव लाने से पहले विपक्ष के नेता भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा था कि अविश्वास प्रस्ताव से यह पता चल जाएगा कि कौन सा विधायक सरकार के साथ खड़ा है और कौन सा किसानों के साथ। लेकिन अविश्वास प्रस्ताव तो औंधे मुंह गिर गया क्योंकि अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 32 जबकि इसके ख़िलाफ़ 55 वोट पड़े।