कांग्रेस ने 19 मई को विदेश मंत्री जयशंकर को फिर आक्रामक तरीके से घेरा। कांग्रेस की ओर से नेता विपक्ष राहुल गांधी और पवन खेड़ा ने बीजेपी से कड़े सवाल किए। सरकार ठीक से जवाब नहीं दे पा रही है।
पीएम मोदी और विदेश मंत्री जयशंकर
लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने सोमवार को एक बार फिर दावा किया कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत ने अपनी संपत्तियों के नुकसान पर चुप्पी साध रखी थी। उन्होंने इसे "अपराध" बताते हुए और विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयानों का हवाला देते हुए कहा पाकिस्तान को पहले से सूचित करना गलत था। बीजेपी प्रवक्ता पवन खेड़ा ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में बीजेपी को सिंदूर के सौदागर तक कह डाला।
तीन दिनों के अंदर राहुल का यह दूसरा ट्वीट है। पहला ट्वीट उन्होंने शनिवार को किया था। जिसमें जयशंकर का वो वीडियो बयान था, जिसमें विदेश मंत्री साफ-साफ कह रहे हैं कि हमने पाकिस्तान को हमले से पहले संदेश भेजा था। पहले जानिए कि राहुल ने सोमवार 19 मई को क्या कहा। राहुल गांधी ने ट्वीट किया, "विदेश मंत्री जयशंकर की चुप्पी न केवल खुलासा करती है, बल्कि निंदनीय भी है। मैं फिर पूछता हूँ: पाकिस्तान को पहले से जानकारी होने के कारण हमने कितने भारतीय विमान खोए? यह कोई चूक नहीं थी, यह अपराध था। देश को सच जानने का हक है।" उन्होंने जयशंकर के उस बयान का जिक्र किया जिसमें कहा गया था कि भारत ने पाकिस्तानी सेना को आतंकी ठिकानों पर हमले से दूर रहने की चेतावनी दी थी।
नेता विपक्ष राहुल ने शनिवार को जो पहला ट्वीट किया था, उसे भी पढ़िए। हालांकि शनिवार और सोमवार के ट्वीट में बहुत अंतर नहीं है। मूल सवाल वही है।
राहुल गांधी के ट्वीट के बाद, कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बीजेपी को "सिंदूर का सौदागर" करार दिया और जयशंकर का वीडियो बयान दिखाया।
उन्होंने जयशंकर के कथित "स्वीकारोक्ति" का जिक्र करते हुए कहा, "माफ कीजिए, इसे कूटनीति नहीं, जासूसी कहते हैं।" खेड़ा ने दावा किया कि भारत, हाफिज सईद और मसूद अजहर जैसे आतंकियों को खत्म नहीं कर सका क्योंकि नई दिल्ली ने पहले ही पाकिस्तानी सैन्य प्रतिष्ठान को सूचित कर दिया था। उन्होंने कहा, "हमें अपने सशस्त्र बलों की सुरक्षा की चिंता है।"
कांग्रेस प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत भी हमला बोला और सात सवाल पूछे। सुप्रिया ने लिखा है- क्रोनोलॉजी समझिए। विदेश मंत्री जयशंकर जी ने ख़ुद मीडिया को दिए वक्तव्य में कहा “हमने हमला करने से पहले पाकिस्तान को सूचित कर दिया था. हमने बता दिया था कि हम हमला आतंकी इंफ्रास्ट्रक्चर पर करेंगे, सेना पर नहीं. आपकी सेना को इसमें शामिल होने की ज़रूरत नहीं है, उसके पास इससे बाहर रहने का विकल्प है” मतलब ख़ुद सरकार ने पाकिस्तान को आगाह किया और फिर यह सोचा कि वो कुछ नहीं करेंगे - हाथ पर हाथ धरे बैठे रहेंगे। सुप्रिया के सवाल नीचे ट्वीट में हैं। पढ़िए-
17 मई को राहुल गांधी ने जयशंकर के बयान का एक वीडियो ट्वीट करते हुए लिखा था, "हमले की शुरुआत में पाकिस्तान को सूचित करना अपराध था। विदेश मंत्री ने सार्वजनिक रूप से स्वीकार किया कि सरकार ने ऐसा किया।" हालांकि, राहुल गांधी के 17 मई के ट्वीट के तुरंत बाद, विदेश मंत्रालय (MEA) ने स्पष्टीकरण जारी करते हुए उनके बयान को "तथ्यों का पूर्ण रूप से गलत चित्रण" बताया। लेकिन विदेश मंत्रालय यह नहीं कह रहा है कि जयशंकर का जो वीडियो सामने आया है, वो गलत है। अगर राहुल का बयान गलत है तो फिर मंत्री जयशंकर का वीडियो सही कैसे हो सकता है।
राहुल गांधी के दावों की जांच करते हुए, विदेश मंत्रालय ने कहा कि विदेश मंत्री ने स्पष्ट रूप से बताया था कि पाकिस्तान को ऑपरेशन सिंदूर के शुरुआती चरण में चेतावनी दी गई थी, न कि इसके शुरू होने के बाद। मंत्रालय ने कहा, "विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा था कि हमने ऑपरेशन सिंदूर शुरू होने के बाद शुरुआती चरण में पाकिस्तान को चेतावनी दी थी। इसे गलत तरीके से शुरू होने से पहले का बताया जा रहा है। तथ्यों के इस गलत चित्रण को उजागर किया जा रहा है।"