loader

कुनाल पर हुई कार्रवाई को लेकर इंडिगो के पायलट ने जताई आपत्ति

स्टैंड अप कॉमेडियन कुनाल कामरा के पत्रकार अर्णब गोस्वामी के साथ फ़्लाइट में हुए वाक़ये के बाद उन्हें इसी फ़्लाइट के पायलट का समर्थन मिला है। इंडिगो के पायलट ने एयरलाइन के प्रबंधन को पत्र लिखकर पूछा है कि कामरा के ख़िलाफ़ कार्रवाई करने से पहले उनसे बात क्यों नहीं की गई। कुछ दिन पहले कामरा ने टीवी पत्रकार अर्णब गोस्वामी को फ़्लाइट में ही घेर लिया था और उनसे कुछ सवाल पूछे थे। कामरा ने अर्णब के साथ हुई बातचीत का वीडियो अपने ट्विटर अकाउंट पर शेयर किया था और यह जमकर वायरल हुआ था। इसके बाद इंडिगो, एयर इंडिया,  स्पाइसजेट और गोएयर एयरलाइंस ने कामरा पर फ़्लाइट में यात्रा करने पर बैन लगा दिया था। 

ताज़ा ख़बरें

इंडिगो के पायलट ने अपने पत्र में लिखा है, ‘मुझे इस बात से दुख हुआ है कि इंडिगो ने सिर्फ़ सोशल मीडिया पोस्ट के आधार पर ही कामरा के ख़िलाफ़ कार्रवाई कर दी और इस बारे में पायलट से कोई बातचीत नहीं की गई। मेरे 9 साल के करियर में यह एक अप्रत्याशित घटना है।’ पायलट ने लिखा है कि कामरा का व्यवहार ऐसा नहीं था कि उसकी शिकायत की जाये। पायलट ने इंडिगो से स्पष्टीकरण मांगते हुए कहा है कि क्या मुझे यह समझना चाहिए कि हाई प्रोफ़ाइल यात्रियों के मामले में उनके आचरण की व्याख्या के लिए अलग मापदंड हैं। उन्होंने लिखा है कि इस बारे में स्थिति को स्पष्ट किया जाना चाहिए। पायलट के पत्र के बाद इंडिगो ने कहा, ‘हमने पायलट के पत्र के बारे में संज्ञान लिया है और इस बारे में जांच के लिये आतंरिक कमेटी बनाई गई है।’ 

पढ़िए पायलट ने पत्र में क्या लिखा

पायलट ने साफ़-साफ़ कहा है कि कामरा ने एयरलाइन स्टाफ़ के निर्देशों का पालन किया था। कैप्टन ने अपने पत्र में लिखा है, 'मुझे बताया गया कि कुनाल कामरा ने अर्णब गोस्वामी से बात करने की कोशिश की जिसका अर्णब ने जवाब नहीं दिया। एलसीए (एयरलाइन स्टाफ़) द्वारा कामरा को अपनी सीट पर लौटने को कहा गया क्योंकि सुरक्षा प्रक्रिया शुरू हो चुकी थी और सीट बेल्ट के संकेत दिए गए थे। एलसीए से इस दिशा निर्देश के मिलने के बाद कामरा ने एलसीए से माफ़ी माँगी और अपनी वह सीट पर लौट गए।' 

इसके बाद पायलट ने क़रीब 10 हज़ार फ़ीट गुज़रने के बाद की घटना का ज़िक्र कर लिखा है,

'केविन सर्विस शुरू होने के बाद एलसीए ने हमें सूचना दी कि कामरा फिर से पहली कतार में आकर गोस्वामी से ज़ोर-ज़ोर से बोल रहे थे। उसने इसका ज़िक्र किया कि हमें एक यात्री ने बताया कि कामरा ने कुछ अभद्र भाषा का प्रयोग किया। यह सुनने के बाद मैंने सर्विलांस को कॉकपिट से हटाकर कतार एक में किया। मैंने नोटिस किया कि कामरा गोस्वामी से शारीरिक हाव-भाव से बोल रहे थे। इसके प्रति गोस्वामी ने कोई ध्यान नहीं दिया। मैंने दोनों महानुभावों के बीच कोई फ़िजिकल कॉन्टैक्ट नहीं देखा। मैंने उस केबिन में पैसेंजरों को एड्रेस किया, उन्हें अपनी सीट पर लौटने के लिए कहा और यह भी कि यदि उनके बीच कोई मतभेद है तो वे फ़्लाइट के उतरने के बाद उसे सुलझा सकते हैं। यह सुनने के बाद कामरा ने एलसीए से माफ़ी माँगी और एलसीए के माध्यम से मुझसे भी माफ़ी माँगी। इसके बाद वह अपनी सीट पर लौट गए। 

इसके कुछ मिनट बाद वहाँ की स्थिति देखने के लिए मैंने फिर से जब सर्विलान्स को ऑन किया तो कुछ यात्रियों को आगे के हिस्से में वॉशरूम का इस्तेमाल करने के लिए इंतज़ार करते देखा। मैंने देखा कि एक यात्री गोस्वामी से बात करने की कोशिश कर रहा था। यह मामला भी और ज़्यादा बढ़े उससे पहले मैंने एक बार फिर पैसेंजरों को एड्रेस किया और कहा कि सीट बेल्ट संकेत अभी भी ऑन हैं और कुछ झटके लग सकते हैं। ...इसके बाद सभी अपनी-अपनी सीट पर चले गए और सब कुछ सामान्य हो गया।

फिर मैंने एलसीए को गोस्वामी को यह बताने के लिए भेजा कि यदि वह शिकायत दर्ज कराना चाहते हैं तो लखनऊ में विमान उतरने पर उनको सहायता दी जाएगी। उन्हें अलग से एफ़ एंड बी भी ऑफ़र किया गया। उन्होंने धन्यवाद दिया और उस ऑफ़र को स्वीकार कर लिया। 

विमान के लैंड होने के बाद जब अधिकतर यात्री उतर गए थे तब कामरा ने मुझसे व्यक्तिगत रूप से मिलकर माफ़ी माँगने के लिए फ़्लाइट डेक के केबिन में आने की अनुमति माँगी। उन्होंने ऐसा किया भी। मैंने जब पूछा कि क्या यह मुद्दा राजनीतिक था तो उन्होंने हाँ में जवाब दिया। ...बाद में जब हम होटल ट्रांसपोर्ट के लिए लखनऊ टर्मिनल के बाहर इंतज़ार कर रहे थे तो फिर से कामरा मिल गए। उन्होंने फिर से माफ़ी माँगी और वह चले गए।...'

अर्णब को कहा था डरपोक

कामरा ने जो वीडियो शेयर किया है उसमें कामरा अर्णब को डरपोक कहते सुनाई देते हैं। इस दौरान कामरा अर्णब से कई बार पूछते हैं, ‘तुम कायर हो या पत्रकार हो। तुम कौन हो, मैं तुम्हारे जवाब का इंतजार कर रहा हूं।’ कामरा ने ट्विटर पर बयान जारी कर कहा था कि इस दौरान अर्णब अपने लैपटॉप पर कुछ देख रहे थे और उन्होंने मुझसे बात नहीं की।'

कामरा ने लिखा था, ‘तब मैंने वही किया जो रिपब्लिक टीवी के पत्रकार लोगों के साथ उनकी प्राइवेट या पब्लिक लाइफ़ में करते हैं। मुझे इस पर कोई पछतावा नहीं है, कोई दुख नहीं है।’ 
कामरा ने लिखा था कि उन्होंने इसके लिये सारे क्रू मेंबर्स और दोनों पायलट से माफ़ी मांगी थी। इसके अलावा वह उस फ़्लाइट के सारे यात्रियों से माफ़ी मांगते हैं सिर्फ़ एक के। कामरा ने लिखा था कि उन्होंने यह सब अपने हीरो रोहित वेमुला और उनकी मां के लिये किया है।

साध्वी प्रज्ञा पर कार्रवाई क्यों नहीं?

स्टैंड अप कॉमेडियन कुनाल कामरा सोशल मीडिया पर ख़ासे सक्रिय रहते हैं और कॉमेडी वाले अंदाज में सरकार की नीतियों के ख़िलाफ़ ट्वीट करते हैं और वीडियो भी बनाते हैं। कामरा पर कई एयरलाइंस की ओर से प्रतिबंध लगाये जाने के बाद कई सोशल मीडिया यूजर्स ने यह सवाल उठाया था कि ऐसी ही कार्रवाई बीजेपी सांसद प्रज्ञा ठाकुर के ख़िलाफ़ क्यों नहीं की गई। कुछ समय पहले अपनी पसंद की सीट नहीं मिलने पर प्रज्ञा ने विवाद खड़ा कर दिया था और इस वजह से विमान 45 मिनट तक उड़ान नहीं भर पाया था। इस पर कुछ यात्रियों ने प्रज्ञा को जमकर खरी-खोटी सुनाई थी। 

सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

देश से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें