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पहलवान अमित शाह से मिले, गृह मंत्री ने कहा- भरोसा रखिए

पहलवानों और किसानों के अल्टीमेटम की समय सीमा खत्म होने से एक दिन पहले ही पहलवानों ने कल रविवार को देर शाम केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की। समझा जाता है कि बृजभूषण पर कड़ी कार्रवाई की बात पर सरकार राजी हो गई है। पहलवान पिछले मंगलवार को अपने पदक गंगा में फेंकने गए थे। वहां पहलवानों से पांच दिन और मांगे गए। पांच दिन की समय सीमा समाप्त होने से एक रात पहले, विरोध करने वाले पहलवानों के प्रतिनिधिमंडल ने शनिवार देर रात राजधानी में सरकारी आवास पर अमित शाह से मुलाकात की। यह बैठक, दो घंटे से अधिक समय तक चली और आधी रात के बाद समाप्त हुई। ओलंपिक पदक विजेता बजरंग पुनिया और साक्षी मलिक के साथ कई कोच इसमें शामिल थे। बजरंग पुनिया ने इंडियन एक्सप्रेस से इस मुलाकात की पुष्टि करते हुए कहा- 

हमने गृह मंत्री के साथ बैठक की थी। मैं और अधिक टिप्पणी नहीं कर सकता।


-बजरंग पुनिया, 5 जून, 2023 सोर्सः इंडियन एक्सप्रेस

बताया जाता है कि अमित शाह ने पहलवानों को भरोसा दिया कि कानून सबके लिए समान है। कानून को अपना काम करने दें। एनडीटीवी की खबर में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि प्रदर्शनकारी पहलवानों ने अमित शाह से कुद मिलने की मांग की थी। उसके बाद यह मुलाकात रखी गई। हालांकि इंडियन एक्सप्रेस ने सूत्रों के हवाले से बताया गया कि सरकार इस मामले को अब खत्म करना चाहती है। एक भाजपा नेता ने पहलवानों को फोन पर बात भी की थी। उसके बाद ही यह स्थिति बदली।

बजरंग और साक्षी मलिक, विश्व चैम्पियनशिप पदक विजेता विनेश फोगट के साथ, सिंह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन में सबसे आगे रहे हैं। बृजभूषण पर एक नाबालिग सहित सात महिला पहलवानों ने यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया है।

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दिल्ली पुलिस ने 28 अप्रैल को बृजभूषण के खिलाफ दो एफआईआर दर्ज की थी। एफआईआर में "यौन संतुष्टि" की मांग के कम से कम दो उदाहरण का जिक्र है। यौन उत्पीड़न की करीब 15 घटनाएं जिनमें अनुचित स्पर्श के 10 उदाहरण शामिल हैं, उसमें दर्ज हैं। आरोपी ने स्तनों को छुआ, नाभि को छूआ; महिला पहलवान का पीछा करने समेत डराने-धमकाने के कई मामले शामिल हैं। एक ओलंपियन, एक राष्ट्रमंडल स्वर्ण पदक विजेता, एक अंतरराष्ट्रीय रेफरी और एक राज्य स्तर के कोच ने कम से कम तीन महिला पहलवानों के आरोपों की पुष्टि की है, और चार राज्यों के 125 संभावित गवाहों में से हैं जिनके बयान दिल्ली पुलिस ने रिकॉर्ड किए हैं।

द इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक शाह के साथ बैठक में पहलवानों ने बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ इन आरोपों की जांच की स्थिति को उठाया था। पहलवानों ने एक मजबूत चार्जशीट जल्द दाखिल करने की मांग को रेखांकित किया। समझा जाता है कि गृह मंत्री ने कहा कि उचित प्रक्रिया का पालन करने की जरूरत है।
इससे पहले, खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने भी पहलवानों से "निष्पक्ष जांच में पूरा सहयोग करने" और "कानून को अपना काम करने देने" का आग्रह किया था। नए संसद के उद्घाटन की पूर्व संध्या पर 27 मई को विरोध करने वाले पहलवानों और सरकार के प्रतिनिधियों के बीच उच्च स्तरीय बैठक हुई थी। लेकिन वो बातचीत अनिर्णायक रही। पहलवान अपने समर्थकों के साथ, नए संसद तक मार्च करने की अपनी योजना के साथ आगे बढ़े। उन्हें रास्ते में रोक लिया गया, दिल्ली पुलिस ने उनके साथ मारपीट की और उन्हें हिरासत में ले लिया। पुलिस ने उनके खिलाफ दंगा भड़काने सहित कई धाराओं के तहत एफआईआर भी दर्ज की थी।

इसके बाद अंतरराष्ट्रीय खेल संगठनों और अन्य एथलीटों ने इस मामले में सरकार की निंदा की। पहलवानों ने पिछले मंगलवार को अपने पदक गंगा में "विसर्जित" करने का फैसला किया। वे हरिद्वार गए, लेकिन किसान नेता नरेश टिकैत के हस्तक्षेप और भाजपा नेता के फोन कॉल के बाद पहलवानों ने फैसला बदल लिया। हरिद्वार पहुंचे भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के अध्यक्ष नरेश टिकैत ने पहलवानों से अपना फैसला पांच दिन के लिए टालने को कहा। इसक बाद बृजभूषण सिंह ने अयोध्या में 5 जून को होने वाली अपनी रैली स्थगित कर दी। फिर सौरम गांव की खाप पंचायत में नरेश टिकैत और उनके भाई नरेश टिकैत ने सिंह के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए सरकार को "7 से 10 दिन" तक अल्टीमेटम दिया।

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क़मर वहीद नक़वी
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