पंजाब के आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायक हरमीत सिंह पठानमाजरा को रेप के एक मामले में गिरफ्तार किया गया था। पुलिस का आरोप है कि विधायक पठानमाजरा और उनके साथियों ने भागने के दौरान पुलिस पर गोलीबारी की और एक पुलिसकर्मी को अपनी SUV से कुचल दिया, जिससे वह घायल हो गया। पंजाब पुलिस ने विधायक को पकड़ने के लिए व्यापक तलाशी अभियान शुरू कर दिया है। इस बीच पठानमाजरा ने एक वीडियो जारी कर अपनी पार्टी लीडरशिप पर ही आरोप लगाए हैं।
सनौर से विधायक हरमीत सिंह पठानमाजरा के खिलाफ सोमवार रात पटियाला के सिविल लाइंस पुलिस स्टेशन में एक FIR दर्ज की गई थी। यह FIR जीरकपुर की एक महिला की शिकायत पर दर्ज की गई, जिसमें आरोप लगाया गया कि विधायक ने खुद को तलाकशुदा बताकर उनके साथ संबंध बनाए और 2021 में शादी की। जबकि वह पहले से शादीशुदा थे। महिला ने उन पर यौन शोषण, धमकी देने और अश्लील सामग्री भेजने का भी आरोप लगाया। FIR में पठानमाजरा के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 376 (बलात्कार), 420 (धोखाधड़ी) और 506 (आपराधिक धमकी) के तहत मामला दर्ज किया गया।
पुलिस के अनुसार, पठानमाजरा को मंगलवार सुबह हरियाणा के करनाल जिले के डबरी गांव में उनके रिश्तेदार के घर से गिरफ्तार किया गया था। उन्हें पटियाला के एक स्थानीय पुलिस स्टेशन ले जाया जा रहा था, जब उन्होंने और उनके साथियों ने पुलिस पर गोलीबारी की और एक सफेद SUV में भाग निकले। इस दौरान एक पुलिसकर्मी घायल हो गया। पुलिस ने बताया कि स्थानीय लोगों और समर्थकों ने विधायक की भागने में मदद की।
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राजनीतिक विवाद और आरोप 

पठानमाजरा ने गिरफ्तारी से पहले फेसबुक लाइव के जरिए पंजाब सरकार और AAP की दिल्ली नेतृत्व की आलोचना की थी। उन्होंने दावा किया कि यह मामला उनकी पूर्व पत्नी से संबंधित है और इसे राजनीतिक रूप से प्रेरित किया गया है। उन्होंने कहा, "मैंने अपनी ही सरकार के खिलाफ आवाज उठाई थी, खासकर दिल्ली नेतृत्व के खिलाफ, इसलिए मुझे निशाना बनाया जा रहा है।" उनके भाई हरदेव सिंह ने भी दावा किया कि विधायक को पहले ही पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट से इस मामले में जमानत मिल चुकी थी।

पंजाब में बाढ़ और AAP के खिलाफ बयान 

पठानमाजरा ने हाल ही में पंजाब में बाढ़ से निपटने में सरकार की कथित नाकामी को लेकर तीखी आलोचना की थी। उन्होंने जल संसाधन विभाग के प्रधान सचिव कृष्ण कुमार पर निशाना साधते हुए कहा था कि तांगरी नदी की सफाई और तटबंधों को मजबूत करने की उनकी मांगों पर कोई कार्रवाई नहीं की गई। उन्होंने मुख्यमंत्री भगवंत मान से कृष्ण कुमार को तत्काल हटाने की मांग भी की थी। इसके बाद उनकी सुरक्षा वापस ले ली गई और उनके क्षेत्र के कई पुलिस अधिकारियों का तबादला कर दिया गया।

आप विधायक के वकील का दावा 

पठानमाजरा के वकील, एडवोकेट सिमरनजीत सिंह सग्गू ने कहा कि यह FIR राजनीतिक बदले की भावना से दर्ज की गई है। उन्होंने बताया कि पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने पहले इस मामले की जांच DIG रोपड़ रेंज को सौंपी थी, और शिकायतकर्ता ने स्वीकार किया था कि वह विधायक के साथ लिव-इन रिलेशनशिप में थी और समझौता करने को तैयार थी। इसके बावजूद, बलात्कार और धोखाधड़ी की धाराओं के तहत नया मामला दर्ज किया गया।

AAP में आंतरिक कलह 

इस घटना ने AAP की पंजाब इकाई में बढ़ते आंतरिक मतभेदों को उजागर किया है। हाल के महीनों में कई विधायकों ने पार्टी की निर्णय लेने की प्रक्रिया के खिलाफ आवाज उठाई है, जिसके परिणामस्वरूप कुछ को अनुशासनात्मक कार्रवाई या निष्कासन का सामना करना पड़ा है। पठानमाजरा ने दावा किया कि AAP नेतृत्व ने कम से कम पांच विधायकों से इस्तीफा पत्र साइन करवाए हैं ताकि उन्हें दबाव में रखा जा सके।

पुलिस की कार्रवाई और जनता का गुस्सा 

पठानमाजरा ने अपने समर्थकों से पटियाला के SSP और डिप्टी कमिश्नर के कार्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन करने की अपील की थी। उन्होंने कहा, "मैं चुप नहीं रहूंगा, भले ही मेरे खिलाफ और मामले दर्ज किए जाएं। क्या AAP का दिल्ली नेतृत्व अब पंजाबियों पर राज करेगा?" इस घटना ने न केवल कानूनी विवाद को जन्म दिया है, बल्कि AAP के शासन, पार्टी एकता और केंद्रीकृत शक्ति के सवालों को भी सामने लाया है।
पंजाब पुलिस ने कहा कि विधायक को पकड़ने के लिए तलाशी अभियान जारी है। इस बीच, पटियाला में विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए हैं, और यह विवाद और गहराने की आशंका है।