लाल किले से भी पीएम मोदी ने चुनाव पर फोकस किया?
पंद्रह अगस्त को देश प्रधानमंत्री को सुनता है कि वो देश के सामने क्या विजन रखते हैं । इस दिन उनसे उम्मीद देश करता है कि वो राजनीति से दूर रहेंगे लेकिन इस बार वो वोट माँगते दिखे और जनादेश का अनादर करते हुए खुद को 2024 चुनाव में विजयी भी घोषित कर दिया ? क्या ये प्रधानमंत्री को शोभा देता है ? क्या वो नर्वस है इसलिये अभी से माहौलबंदी में लग गये है ?