loader

ये हैं हरियाणा के सियासी रण के बड़े चेहरे

हरियाणा में विधानसभा चुनाव के लिए मतदान हो चुका है और अब 24 अक्टूबर को आने वाले चुनाव नतीजों का इंतजार है। चुनाव प्रचार के दौरान बीजेपी की ओर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कमान संभाली तो कांग्रेस की ओर से राहुल गाँधी ने पार्टी नेताओं के लिए वोट माँगे। हरियाणा के चुनावी रण में कई सियासी दिग्गजों की प्रतिष्ठा दाँव पर है।
हरियाणा में बड़े चुनावी चेहरों की बात करें तो मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर करनाल से, पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा गढ़ी सांपला किलोई से, रामबिलास शर्मा महेंद्रगढ़ से, कांग्रेस विधायक दल की पूर्व नेता किरण चौधरी तोशाम से, विधायक कुलदीप बिश्नोई आदमपुर से, पूर्व नेता प्रतिपक्ष अभय चौटाला ऐलनाबाद से, बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला टोहाना से, लोकतंत्र सुरक्षा पार्टी के प्रमुख राजकुमार सैनी गोहाना से, कांग्रेस के मीडिया विभाग के प्रभारी रणदीप सुरजेवाला कैथल से, जननायक जनता पार्टी के नेता दुष्यंत चौटाला उचाना से, पहलवान बबीता फोगाट चरखी दादरी सीट से चुनाव मैदान में हैं।
ताज़ा ख़बरें

बीजेपी की जीत का अनुमान

एबीपी न्यूज़-सी-वोटर के ओपिनियन पोल के मुताबिक़, 90 सदस्यीय हरियाणा विधानसभा में बीजेपी को 83 सीटें मिल सकती हैं, जबकि कांग्रेस को 3 और अन्य के खाते में 4 सीटें जा सकती हैं। ओपिनियन पोल के आंकड़े अगर चुनाव परिणाम में बदलते हैं या इसके आसपास भी रहते हैं तो बहुत ज़्यादा चौंकाने वाली बात नहीं होगी। ऐसा इसलिए क्योंकि हाल ही में हुए लोकसभा चुनाव में बीजेपी को राज्य की सभी 10 लोकसभा सीटों पर जीत मिली थी। इनमें रोहतक लोकसभा सीट को छोड़कर सभी सीटों पर लोगों ने उसे झोली भरकर वोट दिये थे। लोकसभा चुनाव की जीत को अगर विधानसभा सीटों पर बढ़त के लिहाज से देखें तो बीजेपी 79 सीटों पर आगे रही थी और इसके बाद उसने राज्य में ‘मिशन 75 प्लस’ का फ़ॉर्मूला दिया था। 

एबीपी न्यूज़-सी-वोटर के सर्वे के मुताबिक़, बीजेपी को 48%, कांग्रेस को 21% और अन्य को 31% वोट मिल सकते हैं। 2005 के विधानसभा चुनाव में उसे 2 सीटें और 2009 के विधानसभा चुनाव में सिर्फ़ 4 सीटें मिली थीं। जबकि 2014 के विधानसभा चुनाव में वह सीधे 47 सीटों पर पहुंच गई।

कांग्रेस में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अशोक तंवर की लड़ाई के कारण पार्टी को चुनाव के मौक़े पर ख़ासी फ़जीहत झेलनी पड़ी। 2014 के विधानसभा चुनाव में इनेलो दूसरे नंबर पर रही थी और उसे 19 सीटें मिली थीं। लेकिन 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले ओमप्रकाश चौटाला ने अपने बेटे अजय चौटाला और उनके दो बेटों दुष्यंत और दिग्विजय चौटाला को पार्टी से बाहर कर दिया था। दुष्यंत और दिग्विजय का अपने चाचा अभय सिंह चौटाला से सियासी टकराव बढ़ गया था। दुष्यंत और दिग्विजय ने जननायक जनता पार्टी (जेजेपी) बना ली। 

बहुजन समाज पार्टी, हरियाणा में ग़ैर जाट वोटों के दम पर मुख्यमंत्री बनने का सपना पाले बैठे बीजेपी के पूर्व सांसद राजकुमार सैनी की लोकतंत्र सुरक्षा पार्टी, आम आदमी पार्टी हरियाणा में बीजेपी के सामने कोई बड़ी चुनौती पेश करने में सफल नहीं दिखे। 

हरियाणा से और ख़बरें

मोदी का करिश्मा, 370 का सियासी फायदा 

एबीपी न्यूज़-सी-वोटर के सर्वे के मुताबिक़, राज्य में 72% लोग नरेंद्र मोदी को जबकि सिर्फ़ 8% लोग कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी को। यह आंकड़ा बताता है कि पिछले विधानसभा चुनाव में मोदी लहर के दम पर मिली सफलता के पांच साल बाद भी राज्य के लोगों में नरेंद्र मोदी की लोकप्रियता कम नहीं हुई है बल्कि बढ़ी ही है जबकि राहुल गाँधी की सियासी हालत खस्ता है। इसके अलावा बीजेपी ने जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाये जाने को देश की एकता, अखंडता के लिए बेहद ज़रूरी क़दम के रूप में जनता के सामने रखा है जबकि कांग्रेस के नेताओं का इस मुद्दे पर स्टैंड अलग-अलग रहा है। मोदी और अमित शाह ने अपनी लगभग हर रैली में इस मुद्दे का जिक्र कर कांग्रेस को कठघरे में खड़ा करते हुए उसे पाकिस्तान का मित्र बताने की कोशिश की है और बीजेपी को इसका सियासी लाभ मिलने की आशंका से इनकार नहीं किया जा सकता। 
सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

हरियाणा से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें