सियासत के खेल में किसी को नहीं पता कि कब कौन ताक़तवर होगा और कब कौन कमजोर। भारतीय राजनीति में कई ऐसे उदाहरण हैं जब दिग्गज सियासतदानों को सत्ता जाने के बाद ऐसा ख़राब समय भी देखना पड़ा जिसकी उन्होंने कल्पना भी नहीं की होगी। आज के समय में यह बात एकदम सही बैठती है केंद्र में वित्त और गृह जैसे अहम मंत्रालय संभाल चुके कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम पर। वैसे भी राजनीति के बारे में कहावत है कि यहाँ कुछ भी स्थाई नहीं होता, इसका सीधा मतलब यह है कि सत्ता अस्थाई है और उससे मिलने वाली ताक़त भी।