सीबीआई ने कहा कि खाते को जुलाई 2021 में "फ्रॉड" घोषित किया गया। बैंक ने आरोप लगाया कि जेआईएल के फोरेंसिक ऑडिट से पता चला कि उसने कुल कमीशन खर्चों में से "संबंधित कंपनियों" को ₹ 1,410.41 करोड़ का भुगतान किया, इस प्रकार जेआईएल से पैसे निकाल लिए गए। एफआईआर में कहा गया है कि गोयल परिवार के व्यक्तिगत खर्च जैसे कर्मचारियों का वेतन, फोन बिल और वाहन खर्च आदि का भुगतान जेआईएल खाते से किया गया।