मजीठा रोड बाईपास पर एक रिहायशी कॉलोनी के खाली प्लॉट में हुए विस्फोट में एक व्यक्ति की मौत हो गई, जो कथित तौर पर मंगलवार को "साइट से सामान लेने" आया था। सूत्रों के अनुसार, विस्फोट इतना तीव्र था कि व्यक्ति के दोनों हाथ कलाई के ऊपर से उड़ गए। अमृतसर ग्रामीण के एसएसपी मनिंदर सिंह ने कहा कि पुलिस उस व्यक्ति का पता लगा रही है, जो विस्फोट में गंभीर रूप से घायल हुआ है। पुलिस की एक टीम मौके पर पहुंची, इलाके की घेराबंदी की और जांच शुरू की। शुरुआती जांच में डीआईजी बॉर्डर रेंज सतिंदर सिंह ने दावा किया कि इस घटना के पीछे आईएसआई समर्थित बाबर खालसा का हाथ है, जिसका उद्देश्य क्षेत्र में शांति भंग करना है।

आतंकियों के ठिकाने कैमरे के सामने नष्ट किए, ताकि कोई सबूत न मांगेः मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को कहा कि पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत के हवाई हमलों में मात्र 22 मिनट में नौ आतंकवादी ठिकाने नष्ट कर दिए गए। गांधीनगर में एक रैली में उन्होंने जोर देकर कहा कि सबूत मांगने की किसी भी मांग को दबाने के लिए पूरी कार्रवाई कैमरे पर रिकॉर्ड की गई थी। मोदी ने कहा- "यह वीरों की भूमि है। अब तक जिसे हम छद्म युद्ध कहते थे, 6 मई के बाद जो दृश्य देखने को मिले, उसे अब हम छद्म युद्ध कहने की गलती नहीं कर सकते। इसका कारण यह है कि जब मात्र 22 मिनट के भीतर नौ आतंकवादी ठिकानों की पहचान कर उन्हें नष्ट कर दिया गया, तो यह एक निर्णायक कार्रवाई थी। और इस बार सब कुछ कैमरों के सामने किया गया, ताकि घर पर कोई सबूत न मांग सके।"

पाकिस्तान ने भारत से बातचीत की इच्छा जताई

पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने सोमवार को कश्मीर, आतंकवाद, जल बंटवारे और व्यापार सहित दोनों पड़ोसी देशों के बीच सभी लंबित मुद्दों को हल करने के लिए भारत के साथ शांति वार्ता में शामिल होने की इच्छा व्यक्त की। शरीफ की यह टिप्पणी भारत और पाकिस्तान द्वारा पहलगाम आतंकवादी हमले और भारत के जवाबी ऑपरेशन सिंदूर के बाद सीमा पार से गोलीबारी को रोकने पर सहमत होने के कुछ सप्ताह बाद आई है। उन्होंने चार देशों की अपनी यात्रा के दूसरे चरण के दौरान तेहरान में यह बयान दिया।

बांग्लादेश ने सरकार के साथ मिलकर काम करने की बात कही

बांग्लादेश की सेना और मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली अंतरिम सरकार के बीच बढ़ती दरार की अटकलों पर विराम लगाते हुए देश के शीर्ष सैन्य अधिकारियों ने कहा कि वे देश के हितों की रक्षा के लिए सरकार के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। बांग्लादेशी सेना के वरिष्ठ अधिकारियों ने सोमवार को ढाका में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ये बयान दिए। बांग्लादेश के अखबार डेली स्टार के मुताबिक पत्रकारों को संबोधित करते हुए मिलिट्री ऑपरेशन डायरेक्टोरेट (एमओडी) के निदेशक ब्रिगेडियर जनरल मोहम्मद नाजिम-उद-दौला ने कहा, "यह हमारा देश है। इसका कल्याण और संप्रभुता हम सभी से गहराई से जुड़ी हुई है। अगर हम इस देश को सुरक्षित रखना चाहते हैं, तो हमें इसे खुद करना होगा। और अगर कुछ भी गलत होता है, तो हम उसके लिए भी समान रूप से जिम्मेदार हैं।"

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कर्नाटक में बीजेपी विधायक को पार्टी से निकाला

भाजपा की केंद्रीय अनुशासन समिति ने कर्नाटक के उत्तर कन्नड़ से विधायक ए शिवराम हेब्बर को छह साल के लिए पार्टी से निष्कासित कर दिया है। पार्टी ने यह फैसला "पार्टी अनुशासन का बार-बार उल्लंघन" करने के आरोप में लिया है। केंद्रीय अनुशासन समिति के सदस्य सचिव ओम पाठक द्वारा जारी एक पत्र में भाजपा ने कहा कि उसने 25 मार्च, 2025 को जारी कारण बताओ नोटिस पर हेब्बर के जवाब पर विचार किया है। समिति ने स्पष्टीकरण को असंतोषजनक पाया और तत्काल प्रभाव से उनके खिलाफ कार्रवाई करने का फैसला किया।

कथित जासूस यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा के बारे में नए खुलासे

हरियाणा की यूट्यूबर ज्योति मल्होत्रा ​​को पता था कि वे जिन पाकिस्तानी अधिकारियों के संपर्क में हैं, वे पाकिस्तान की कुख्यात जासूसी एजेंसी इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस के साथ काम करते हैं, लेकिन उन्हें कोई डर नहीं था। यह बात हरियाणा पुलिस द्वारा 33 वर्षीय यूट्यूबर के डिजिटल उपकरणों की जांच के दौरान सामने आई है, जिसे पाकिस्तान के लिए जासूसी करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। सूत्रों के अनुसार, ज्योति मल्होत्रा ​​चार पाकिस्तानी खुफिया एजेंटों के संपर्क में थी और उनसे आमने-सामने बात करती थी। इनमें दानिश भी शामिल है, जिनसे वह दिल्ली में पाकिस्तान उच्चायोग की यात्रा के दौरान मिली थी, अहसान और शाहिद। जांचकर्ता अब इन एजेंटों के पदनाम और पाकिस्तानी सुरक्षा प्रतिष्ठान में नौकरी के पदों की पुष्टि करने की कोशिश कर रहे हैं।

इससे पहले पुलिस ने ज्योति मल्होत्रा ​​के डिजिटल डिवाइस जब्त किए थे, जिसमें उनका फोन और लैपटॉप भी शामिल था। हालांकि कई संदेश और अन्य जानकारी डिलीट कर दी गई थी, लेकिन पुलिस ने 12 टीबी का बड़ा डेटा रिकवर करने में कामयाबी हासिल की। ​​इस डेटा को अब मामले में और सुरागों के लिए स्कैन किया जा रहा है। सूत्रों के मुताबिक, इस डेटा सबूत से यह साबित होता है कि ज्योति मल्होत्रा ​​को अच्छी तरह पता था कि वह आईएसआई अधिकारियों से बात कर रही है, लेकिन वह डरी नहीं और उसने संपर्क जारी रखा।