राम जेठमलानी का जन्म 14 सितंबर 1923 को अविभाजित भारत के सिंध प्रांत के शिकारपुर में हुआ था। इनका पूरा नाम राम बूलचंद जेठमलानी था। हज़ारों मुक़दमे लड़ने वाल जेठमलानी का पहला सबसे चर्चित केस 1959 में आया था, जब वह केएम नानावती बनाम महाराष्ट्र राज्य मामले में वकील थे। जेठमलानी ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के हत्यारों का केस लड़ा था। स्टॉक मार्केट घोटाला मामले में उन्होंने हर्षद मेहता और केतन पारेख का भी मुक़दमा लड़ा था। जेठमलानी तब विवादों में घिर गये थे जब उन्होंने संसद पर हमले के दोषी अफ़ज़ल गुरू का केस लड़ा था। उन्होंने जेसिकालाल हत्याकांड में मनु शर्मा का केस भी लड़ा था।
राम जेठमलानी के पिता और दादा भी वकील थे लेकिन वे नहीं चाहते थे कि जेठमलानी भी वकील बनें। एक साक्षात्कार में राम जेठमलानी ने कहा था कि उनके पिता चाहते थे कि वह इंजीनियर बनें लेकिन उन्हें वकालत पसंद थी। बताया जाता है कि 18 साल की उम्र में ही राम जेठमलानी को वकालत का लाइसेंस जारी कर दिया गया था। इतनी कम उम्र में वकालत शुरू करने वाले वह देश के पहले और आख़िरी व्यक्ति थे।