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माहिम में इस तरह के पोस्टर पाए गए।

उद्धव के साथ औरंगजेब के पोस्टर किसने लगाए, तनाव फैलाने की कोशिश

मुंबई के माहिम इलाके में शिवसेना यूबीटी प्रमुख उद्धव ठाकरे और प्रकाश आंबेडकर की फोटो के साथ मुगल बादशाह औरंगजेब की फोटो लगाकर तनाव फैलाने की कोशिश की गई। ये पोस्टर बुधवार देर रात किसी समय लगाए गए होंगे, लेकिन लोगों की नजर इस पर आज सुबह पड़ी। पुलिस को जैसे ही इसकी सूचना मिली, उसके हाथ पैर फूल गए।

पुलिस ने कहा है कि अभी यह सूचना नहीं मिली है कि ये पोस्टर किसने लगाए हैं। अगर कोई शिकायत आई तो अज्ञात के खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा। फिलहाल हमने इन पोस्टरों को हटा दिया है। 

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महाराष्ट्र में औरंगजेब के नाम पर तनाव फैलाने की लगातार कोशिश हो रही है। अकोला और कुछ अन्य स्थानों पर औरंगजेब को लेकर दंगे हुए। एक नाबालिग ने औरंगजेब पर एक पोस्ट फेसबुक पर लगाई। दक्षिणपंथी समूहों ने उसे विवाद का विषय बना दिया। उन्होंने पुलिस में शिकायत दी। पुलिस ने उस नाबालिग को हिरासत में ले लिया। लेकिन उसके बाद दक्षिणपंथी समूहों ने शहरों में आपत्तिजनक नारेबाजी की। इस पर पथराव हुए और दंगा शुरू हो गया। महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने बिना किसी समुदाय का नाम लिए आरोप लगाया कि महाराष्ट्र में एकसाथ कई जगह पर औरंगजेब के पोस्टर क्यों लगाए जा रहे हैं। लेकिन अब माहिम की ताजा घटना पर अभी तक फडणवीस का कोई बयान नहीं आया है कि आखिर उद्धव की छवि को खराब करने वाले पोस्टर लगाने में किसी दिलचस्पी हो सकती है।

Maharashtra: Who put up posters of Aurangzeb with Uddhav, trying to spread tension - Satya Hindi
यह पोस्टर भी माहिम में मिला।
इन पोस्टरों का संबंध महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव से भी जोड़ा जा रहा है, जो देर-सवेर कभी भी हो सकते हैं। राज्य में शिवसेना के एकनाथ शिंदे गुट और भाजपा की मिलीजुली सरकार है। दोनों के रिश्तों में इधर खटास भी देखी जा रही है। कुल मिलाकर राजनीतिक समीकरण में यह गठबंधन कमजोर पड़ रहा है। दूसरी तरफ महाविकास अघाड़ी गठबंधन अभी भी मजबूत बना हुआ है। एनसीपी में नेतृत्व परिवर्तन हो चुका है। इस तरह महाराष्ट्र में विपक्षी गठबंधन भारी पड़ रहा है।

प्रकाश आंबेडकर विवाद में क्यों

प्रकाश आंबेडकर वंचित बहुजन अघाड़ी के अध्यक्ष हैं। वो बाबा साहब आंबेडकर के पोते हैं। उनकी पार्टी बहुजन विकास महासंघ का उद्धव की पार्टी के साथ गठबंधन है। प्रकाश आंबेडकर 18 जून को खुल्दाबाद में औरंगजेब की कब्र पर पहुंचे थे। 

औरंगजेब की कब्र पर जाने के बारे में पूछे जाने पर प्रकाश आंबेडकर ने कहा था कि वो बतौर पर्यटक वहां गए थे। औरंगजेब की कब्र पर तमाम सैलानी आते हैं। मैं भी उसी तरह गया था। लेकिन मैं यह भी बताना चाहता हूं कि औरंगजेब ने भारत पर 50 वर्षों तक हुकूमत की थी। उसका नाम और काम भाजपा-आरएसएस वाले कहां-कहां से मिटाएंगे।

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भाजपा प्रवक्ता अजीत चव्हाण ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी थी। अजीत ने कहा था कि प्रकाश आंबेडकर ने औरंगजेब की कब्र पर जाकर धर्मवीर छत्रपति संभाजी महाराज का अपमान किया है। 

 

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क़मर वहीद नक़वी
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