42 वर्षीय ऋषि सुनाक ब्रिटेन के पहले भारतवंशी और पिछले 210बरसों के सबसे युवा प्रधानमंत्री बन गए हैं। पिछले महीने हुए पार्टी चुनाव में वे सदस्यों और सांसदों का बहुमत हासिल नहीं कर पाए थे। उन्हें हरा कर प्रधानमंत्री बनीं लिज़ ट्रस को 'क़र्ज़ उठाओ और ख़र्च करो' की आर्थिक तंगी के समय अनुचित नीतियों से वैसा ही आर्थिक संकट खड़ा हो गया था जिसकी ऋषि सुनाक ने चेतावनी दी थी।
सुनाक क्या ब्रिटेन को संकट से निकाल पायेंगे?
- विचार
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- 26 Oct, 2022

कंज़र्वेटिव पार्टी की आपसी गुटबाज़ी और विपक्षी पार्टियों की झुँझलाहट से परे ऋषि सुनाक के ब्रिटेन का प्रधानमंत्री बन जाने की तुलना ओबामा के अमेरिका का राष्ट्रपति बनने से की जा रही है। भारतीयों पर राज करने वाले देश पर एक भारतवंशी राज करने जा रहा है।
ट्रस सरकार की नीतियों की नाकामी ने ऋषि सुनाक की आर्थिक समझबूझ की साख को और बढ़ाया और पार्टी नेता के इस बार के चुनाव में वे कंज़र्वेटिव पार्टी के लगभग दो तिहाई सांसदों का समर्थन हासिल करके निर्विरोध ही चुन लिए गए।
इंग्लैंड के दक्षिणी बंदरगाह साउथैम्पट में जन्मे और छात्रवृत्ति लेकर ऑक्सफ़र्ड और स्टेनफ़र्ड विश्वविद्यालयों में पढ़े ऋषि सुनाक के दादा और दादी पंजाब के गुजराँवाला और दिल्ली के थे और काम के लिए केन्या और तंज़ानिया गए थे। उनके नाना तंज़ानिया के तांगानिका प्रांत में ब्रितानी सरकार के टैक्स अफ़सर थे। सुनाक के पिता डॉक्टर थे और माँ दवा विक्रेता थीं।