कर्नाटक की कांग्रेस सरकार ने सरकारी ठेकों में मुसलमानों को चार फ़ीसदी आरक्षण देने का फ़ैसला किया है जिस पर बीजेपी आगबबूला है। राज्यसभा में नेता सदन और बीजेपी के अध्यक्ष जे.पी.नड्डा और संसदीय कार्यमंत्री किरन रिजीजू ने कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी.के.शिवकुमार के एक बयान के आधार पर दावा किया कि उन्होंने मुस्लिमों को आरक्षण देने के लिए संविधान बदलने की बात कही है। उधर, डी.के. शिवकुमार ने इसे सरासर झूठ बताया और क़ानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी है। राज्यसभा में कांग्रेस के मुख्य सचेतक जयराम रमेश ने जे.पी. नड्डा और किरेन रिजिजू पर झूठ बोलने का आरोप लगाते हुए विशेषाधिकार का नोटिस भी दिया है।
कर्नाटक में मुस्लिम आरक्षण से जुड़े विवाद का सच!
- विचार
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- 25 Mar, 2025

क्या कर्नाटक में मुस्लिमों को धर्म के आधार पर आरक्षण मिला है? बीजेपी इसे तुष्टिकरण बता रही है, जबकि सिद्धारमैया सरकार ने इसका बचाव किया है। जानें इस विवाद का पूरा सच।
तो फिर कर्नाटक में मुस्लिम आरक्षण का सच क्या है? दरअसल, भारत का संविधान धर्म के आधार पर आरक्षण की इजाज़त नहीं देता लेकिन सामाजिक और शैक्षणिक लिहाज़ से पिछड़े वर्ग में आने वाली मुस्लिम जातियों को आरक्षण मिलता है जैसा कि मंडल कमीशन ने सिफ़ारिश की थी और जिस पर संसद और सुप्रीम कोर्ट ने मुहर लगायी थी। इसके अलावा आर्थिक आधार पर मिलने वाले आरक्षण का लाभ भी ग़रीब मुस्लिमों को मिल सकता है।