1971 में पाकिस्तान को शिकस्त देने और उसके दो टुकड़े करने के 50 साल पूरे होने के मौक़े पर कांग्रेस और केंद्र सरकार दोनों ही बड़े कार्यक्रम कर रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जहां दिल्ली में नेशनल वॉर मैमोरियल में आयोजित कार्यक्रम में इस युद्ध के शहीदों को श्रद्धांजलि दी तो वहीं कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी देहरादून में आयोजित रैली में ऐसे पूर्व सैनिकों को सम्मानित किया जो इस युद्ध में लड़े थे। कांग्रेस इस मौक़े पर विजय दिवस भी मना रही है।
1971 युद्ध: मोदी पहुंचे वॉर मैमोरियल, राहुल ने किया पूर्व सैनिकों को सम्मानित
- राजनीति
- |
- 16 Dec, 2021
1971 के बांग्लादेश युद्ध के 50 साल पूरे होने के मौक़े पर कांग्रेस और केंद्र सरकार दोनों ही बड़े कार्यक्रम कर रहे हैं।

ऐसा करके कांग्रेस राष्ट्रवाद की पिच पर तगड़े ढंग से बैटिंग करने वाली बीजेपी को यह बताना चाहती है कि यह इंदिरा गांधी की क़यादत वाली कांग्रेसी सरकार थी जिसने दुश्मन मुल्क के दो टुकड़े कर दुनिया का भूगोल बदल दिया था।
जबकि मोदी सरकार के राज में पुलवामा, उड़ी और पठानकोट में हुए हमले उसके राष्ट्रवाद और देश के मजबूत हाथों में होने की बात को झूठा साबित करते हैं।