कोरोना वायरस के कारण लगे कर्फ्यू की वजह से पंजाब में लोग घरों में कैद हैं और जो बाहर निकल भी रहे हैं, उनकी अपनी-अपनी मजबूरियाँ हैं। कर्फ्यू के बीच बाहर निकलने वाले लोगों की पुलिस से जमकर भिड़ंत हो रही है। इस महामारी के दौर में भी यह बखूबी साबित हो रहा है कि पुलिस आख़िरकार 'पुलिस' ही है।
कोरोना: यूपी-बिहार से मज़दूर नहीं आएँगे तो बर्बाद हो जाएगी पंजाब की खेती-किसानी
- पंजाब
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- 29 Mar, 2020

पहले से ही कर्ज के जाल में फंसी पंजाब की किसानी पर कोरोना वायरस के कारण लगे कर्फ्यू की जोरदार मार पड़ी है।
जोरों पर है मुनाफ़ाखोरी
पंजाब में सरकारी घोषणा की गई थी कि कर्फ्यू के दौरान लोग कतई घरों से बाहर ना निकलें। भरोसा दिलाया गया था कि उन्हें आवश्यक चीजों की कमी नहीं होने दी जाएगी। हेल्पलाइन नंबर जारी कर दिए गए थे। लेकिन हो क्या रहा है? पुलिस सड़कों पर मरीजों तक को पीट रही है और लोगों को मुर्गा बनाने की शर्मनाक पुलिसिया परंपरा को कायम रखे हुए है। कालाबाजारी और मुनाफ़ाखोरी जोरों पर है। जो सब्जी या फल पहले 50 रुपये किलो था वह अब 100 से 150 रुपये किलो तक बिक रहा है। आटे की थैली 100 रुपये तक बेची जा रही है।