उत्तर प्रदेश का सालाना बजट 2022-23 गुरुवार को विधानसभा में पेश किया गया। 2021-2022 के लिए यह बजट 5.50 लाख करोड़ रुपये का है। वित्त मंत्री सुरेश खन्ना द्वारा पेश किए गए इस बजट में यूपी के बुजुर्ग संतों और पुजारियों की देखरेख के लिए एक बोर्ड बनाने के लिए 1 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। मजदूरों और रेहड़ी-पटरी वालों के बच्चों की अच्छी पढ़ाई के लिए 300 करोड़ रुपये रखे गए। इसी तरह पुराने अरबी-फारसी मदरसों के लिए इस बजट में भी 479 करोड़ का प्रावधान किया गया है। अल्पसंख्यक छात्रों की छात्रवृत्ति योजना के लिए 795 करोड़ का प्रस्ताव है।
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने बजट पेश होने के फौरन बाद ट्वीट किया। आदित्यनाथ ने वादा किया कि यह उत्तर प्रदेश के समग्र विकास के लिए समर्पित होगा।
बजट पेश करते हुए, वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने कहा, कि राज्य की अर्थव्यवस्था में तेजी से सुधार हो रहा है। हमें विश्वास है कि हम राज्य की अर्थव्यवस्था को 1 ट्रिलियन अमेरिकी डॉलर तक ले जाने में सफल होंगे। राज्य ने 2021-2022 में 5.50 लाख करोड़ रुपये का वार्षिक बजट पेश किया। इसका आकार अनुपूरक बजट की प्रस्तुति के साथ ₹5.66 लाख करोड़ हो गया। हालांकि 2022-23 के लिए अंतरिम बजट ₹6 लाख करोड़ से अधिक होने का संकेत दिया गया था।
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