यूं तो बीते साल जुलाई में शपथ लेने के साथ ही पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ और राज्य में सत्तारुढ़ तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के बीच छत्तीस का आंकड़ा बनने लगा था।
टीएमसी का कहना है कि राज्यपाल रोजाना बिना नागा राज्य सरकार के कामकाज, अधिकारियों, मंत्रियों और मुख्यमंत्री पर टिप्पणी कर रहे हैं। वे विधानसभा अध्यक्ष के कामकाज पर भी उंगली उठा चुके हैं।