अरविन्द केजरीवाल
सुप्रीम कोर्ट ने 6 नवंबर को फैसला सुनाया कि लोक सेवकों पर सरकार की पूर्व अनुमति के बिना मनी लॉन्ड्रिंग के लिए मुकदमा नहीं चलाया जा सकता, जैसा कि आपराधिक प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) के तहत आवश्यक है। इससे पहले, लोक सेवकों के खिलाफ ईडी द्वारा दायर आरोपपत्र (अभियोजन शिकायतों) के लिए अभियोजन मंजूरी की आवश्यकता नहीं थी। यह केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) और राज्य पुलिस जैसी अन्य जांच एजेंसियों के लिए अनिवार्य था।