देश भर में 'घुसपैठिया' क़रार देकर बांग्ला बोलने वालों पर की जा रही कार्रवाई पर हंगामे के बीच महाराष्ट्र सरकार के एक फ़ैसले पर बड़ा बवाल मच सकता है। महाराष्ट्र सरकार ने अवैध रूप से राज्य में जारी किए गए 42000 से अधिक फर्जी जन्म प्रमाणपत्रों को रद्द करने की घोषणा की है। राजस्व मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा है कि ये फर्जी प्रमाण पत्र राज्य में रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों को जारी किए गए थे। उन्होंने कहा है कि यह कार्रवाई 15 अगस्त 2025 तक पूरी कर ली जाएगी।
महाराष्ट्र 42000 फर्जी जन्म प्रमाणपत्र रद्द करेगा; क्या ये सब बांग्लादेशी हैं?
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- 31 Jul, 2025
महाराष्ट्र सरकार 42000 फर्जी जन्म प्रमाणपत्रों को रद्द करने जा रही है। क्या ये बांग्लादेशी नागरिक हैं? वहीं दिल्ली में एक बंगाली महिला द्वारा पुलिस पर उत्पीड़न के आरोपों ने नया राजनीतिक विवाद खड़ा कर दिया है।

महाराष्ट्र फर्जी जन्म प्रमाणपत्र रद्द करेगा, बांग्लादेशी होने का आरोप
यह मामला तब सुर्खियों में आया जब बीजेपी नेता किरीट सोमैया ने दावा किया कि हजारों बांग्लादेशी और रोहिंग्या नागरिकों को फर्जी दस्तावेजों के आधार पर जन्म प्रमाणपत्र जारी किए गए हैं। इस बीच, सरकार ने विशेष जाँच दल यानी एसआईटी का गठन किया और अब सख़्त क़दम उठाए जा रहे हैं।
महाराष्ट्र सरकार ने पाया कि राज्य में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों ने तहसीलदारों और स्थानीय अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर फर्जी दस्तावेजों के ज़रिए जन्म प्रमाणपत्र हासिल किए। बावनकुले ने बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि वास्तविक संख्या इससे कहीं अधिक हो सकती है। बावनकुले ने बताया कि इन प्रमाणपत्रों की प्रतियां राजस्व और स्वास्थ्य विभाग को भेजी जाएंगी ताकि रिकॉर्ड को अपडेट किया जा सके।