ख़बर है कि डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर के मुंबई स्थित घर ‘राजगृह’ पर तोड़फोड़ की गई है। यह घटना 7 जुलाई की है। जहाँ गमले तो तोड़े ही गए, सीसीटीवी कैमरे भी तोड़ डाले गए। ‘राजगृह’ को बाबासाहेब ने विशेष रूप से अपनी किताबों के लिए तैयार किया था। यहाँ अपनी निजी लाइब्रेरी में उन्होंने पचास हज़ार के क़रीब किताबें इकट्ठा की थीं। अब वहाँ एक संग्रहालय भी है। सवाल यही है कि ये लोग इन किताबों को हटाकर कौन सी किताबें रखना चाहते हैं?