ऐसा लग रहा है कि राजस्थान की राजनीति पटरी पर शीघ्र ही आ जाएगी। राज्यपाल कलराज मिश्र का यह बयान स्वागत योग्य है कि वह विधानसभा का सत्र बुलाने के विरुद्ध नहीं हैं, लेकिन उन्होंने जो तीन शर्तें रखी हैं, वे तर्कसम्मत हैं और उन तीनों का संतोषजनक उत्तर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत दे ही रहे हैं।
राजस्थान में तुरंत कराएं शक्ति-परीक्षण
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- 29 Jul, 2020

क्या 21 दिन तक इसे इसीलिए लंबा खींचा जा रहा है कि सचिन पायलट खेमे की रक्षा की जा सके? यदि सचिन-गुट कांग्रेस के पक्ष में वोट करेगा तो जीते-जी मरेगा और विरोध में वोट करेगा तो विधानसभा से बाहर हो जाएगा।