शायद शिव सेना को यह बात समझ आ गयी है कि कांग्रेस के समर्थन के बिना बीजेपी को सत्ता से हटा पाना या हटाने की कोशिश करना संभव नहीं है।
अगर 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव की रणनीति के तहत कोई बैठक बुलाई जानी थी तो पूरी तैयारी के साथ बैठक क्यों नहीं बुलाई गई।
चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर ने कहा है कि उन्हें नहीं लगता कि कोई तीसरा या चौथा फ्रंट वर्तमान सत्ता के लिए चुनौती बन सकता है।
विपक्षी दलों की इस बैठक को 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले एंटी बीजेपी फ्रंट या तीसरा मोर्चा बनाने की तैयारियों से जोड़कर देखा जा रहा है।
पश्चिम बंगाल के विधानसभा चुनाव में बीजेपी की बुरी हार के बाद देश में एक बार फिर से एक मज़बूत एंटी बीजेपी फ्रंट या थर्ड फ्रंट की चर्चा जोर पकड़ रही है।