ईरान और इसराइल के बीच तेज़ होती जंग के बीच निर्वासित क्राउन प्रिंस रज़ा पहलवी ने ईरान की जनता को संबोधित करते हुए चौंकाने वाला बयान दिया। उन्होंने कहा, ‘इस्लामी गणराज्य का अंत हो चुका है। आयतुल्लाह अली ख़ामेनई एक डरे हुए चूहे की तरह बंकर में छिपा है और नियंत्रण खो चुका है। समय आ गया है कि ईरान को फिर से आज़ाद और लोकतांत्रिक रास्ते पर ले जाया जाए।’ रज़ा पहलवी ने जनता और सेना से ख़ामेनई की सरकार को उखाड़ फेंकने की अपील भी की है।
इसराइली मिसाइलों पर सवार होकर ईरान लौटेंगे शाह?
- विश्लेषण
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- 19 Jun, 2025

क्या ईरान के पुराने शासक ‘शाह’ की वापसी अब इसराइल की सैन्य ताकत के सहारे होगी? यह सवाल मौजूदा इसराइल-ईरान तनाव और आंतरिक अस्थिरता के बीच तेजी से उठ रहा है। जानिए इसके ऐतिहासिक और रणनीतिक मायने।
ईरान के अंतिम शासक मोहम्मद रज़ा पहलवी ने जब 1967 में ख़ुद को शहंशाह घोषित किया था तो सात साल की उम्र के अपने बेटे रज़ा पहलवी को क्राउन प्रिंस या उत्तराधिकारी घोषित किया था। रज़ा पहलवी फ़िलहाल अमेरिका में रहते हैं और निर्वासित पहलवी परिवार के मुखिया हैं। उनका यह बयान युद्ध के मौक़े का फ़ायदा उठाने तक सीमित नहीं है। इससे पहले, 23 फरवरी 2025 को द टेलीग्राफ़ को दिए साक्षात्कार में उन्होंने संकेत दिया था, “यूरोप और अमेरिका को तेहरान में शासन के आसन्न पतन के लिए तैयार रहना चाहिए।” द टेलीग्राफ़ ने रज़ा पहलवी को एक ऐसे नेता के रूप में वर्णित किया, जिनके पास सुधार की योजना और ईरान के अंदर-बाहर सार्वजनिक मान्यता है।