भारतीय वायुसेना प्रमुख ने तेजस Mk1A समेत रक्षा परियोजनाओं में देरी पर चिंता जताई है। जानिए इससे युद्धक क्षमता पर क्या असर पड़ेगा, शीतल पी सिंह की रिपोर्ट में।
एयर चीफ मार्शल अमर प्रीत सिंह ने तेजस एमके-1, एमके-2 और एएमसीए प्रोटोटाइप की डिलीवरी में देरी पर चिंता व्यक्त की है। यह बयान ऐसे समय आया है जब भारत-पाकिस्तान तनाव बना हुआ है। चीन ने कई मोर्चों पर चुनौती दे रखी है।
भारत ने 15,000 करोड़ रुपये की स्वदेशी स्टील्थ फाइटर जेट योजना को मंज़ूरी दी है। क्या यह परियोजना चीन और पाकिस्तान के रक्षा दबावों का जवाब बन सकती है? जानिए इस रणनीतिक कदम के मायने।
भारत सरकार ने स्वदेशी स्टील्थ फाइटर जेट परियोजना को मंजूरी दे दी है। यह रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता की बड़ी छलांग है और चीन-पाकिस्तान को रणनीतिक संदेश भी। जानें इसकी अहमियत।
ऑपरेशन सिंदूर की प्रेस ब्रीफिंग के दौरान भारतीय सेना ने सोमवार (12 मई, 2025) को कहा -कि हमने पाकिस्तान की पीएल-15 मिसाइलें मार गिराईं, और उनके ड्रोन भी कहीं नहीं टिके।
भारत ने पाकिस्तान के एयर डिफेंस सिस्टम पर जवाबी कार्रवाई क्यों की? जानिए, लाहौर स्थित पाकिस्तान के एयर डिफेंस सिस्टम को कितना बड़ा नुक़सान हुआ है।
ऑपरेशन सिंदूर की जानकारी देने के लिए भारत सरकार की ओर से सेना की कर्नल सोफिया कुरैशी और एयरफोर्स की विंग कमांडर व्योमिका सिंह मीडिया के सामने आईं। लोग जानना चाहते हैं कि ये दोनों महिलाएं कौन हैंः
विदेश मंत्री ने ट्वीट करते हुए लिखा कि हमारे जहाज और विमान उन्हें घर वापस लाने के लिए तैयार हैं। इससे पहले रविवार को विदेश मंत्रालय ने जानकारी देते हुए कहा था कि भारत सूडान में फंसे अपने नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहा है।
देश के डिफेंस बजट के लिए घोषित 13 फीसदी की बढ़ोतरी कोई मायने नहीं रखती, वो भी ऐसे वक्त में जब आपको चीन से लगातार चुनौती मिल रही हो और पाकिस्तान के मंसूबे भी खतरनाक हों।
मध्य प्रदेश के ग्वालियर के पास आज शनिवार सुबह भारतीय वायुसेना के दो लड़ाकू विमान हादसे का शिकार हो गए। एक पायलट की मौत हो गई।
अग्निपथ पर आर्मी की ओर से रविवार दोपहर में की जा रही प्रेस कॉन्फ्रेंस में लेफ्टिनेंट जनरल अनिल पुरी ने कई घोषणाएं कीं, जिनमें अग्निवीरों के लिए ऑफर ही ऑफर हैं। उन्होंने युवकों के कई शक मिटाने की कोशिश की। इस बीच तमाम स्थानों पर योजना के विरोध में प्रदर्शन जारी हैं।
देखना होगा कि क्या अग्निपथ योजना का विरोध कर रहे युवाओं का गुस्सा शांत होगा और वे भर्ती प्रक्रिया में हिस्सा लेंगे?
डिफेंस पर एक संसदीय पैनल ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि सेना के तीन अंगों के लिए घटता बजट चिन्ता का विषय है। पैनल की रिपोर्ट लोकसभा में पेश की गई है।