सुदर्शन टीवी के 'यूपीएससी जिहाद' कार्यक्रम को लेकर शुक्रवार को सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने पूरे उस मीडिया के लिए संदेश दिया है जो किसी न किसी समुदाय को निशाना बनाते रहते हैं। अदालत ने कहा है कि वह पत्रकारिता के बीच में नहीं आना चाहती है लेकिन यह संदेश मीडिया में जाए कि किसी भी समुदाय को निशाना नहीं बनाया जाना चाहिए। तीन दिन पहले जब सुप्रीम कोर्ट ने यूपीएससी जिहाद कार्यक्रम पर रोक लगाई थी तब भी कोर्ट ने यही कहा था कि ‘ऐसा लगता है कार्यक्रम का उद्देश्य मुसलिम समुदाय को बदनाम करना है और उन्हें कुछ इस तरह दिखाना है कि वे चालबाज़ी के तहत सिविल सेवाओं में घुसपैठ की कोशिश कर रहे हैं।’
सुदर्शन टीवी: सुप्रीम कोर्ट की चेतावनी- मीडिया किसी समुदाय को टार्गेट नहीं कर सकता?
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- 23 Sep, 2020

सुदर्शन टीवी के 'यूपीएससी जिहाद' कार्यक्रम को लेकर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यह संदेश मीडिया में जाए कि किसी भी समुदाय को निशाना नहीं बनाया जाना चाहिए।
सुप्रीम कोर्ट की इस रोक के बाद सुदर्शन टीवी के मुख्य संपादक सुरेश चव्हाणके की ओर से अपने कार्यक्रम के बचाव में कोर्ट में हलफ़नामा पेश कर कहा गया था कि वह ‘नागरिकों और सरकार को राष्ट्र विरोधी और समाज विरोधी गतिविधियों के बारे में जगाने के लिए खोजी पत्रकारिता’ कर रहा है।