आर्थिक सर्वेक्षण में भले ही भारत की अर्थव्यवस्था को दुनिया में सबसे तेज़ी से बढ़ती अर्थव्यवस्था होने की बात कही गई है, लेकिन चालू खाता घाटे और रुपये के कमजोर होने की चिंताएँ अभी भी कम नहीं हुई हैं।
चालू खाता घाटा बढ़ सकता है और रुपये पर दबाव भी: आर्थिक सर्वेक्षण
- अर्थतंत्र
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- 31 Jan, 2023
आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार देश की जीडीपी 6.5 फ़ीसदी की दर से तो बढ़ेगी, लेकिन आयात-निर्यात की बढ़ती खाई और रुपये के कमजोर होने से कैसे निपटा जाएगा?

आर्थिक सर्वेक्षण में कहा गया है कि चालू खाता घाटा बढ़ना जारी रह सकता है क्योंकि वैश्विक कमोडिटी की कीमतें ऊंची बनी हुई हैं और रुपया दबाव में आ सकता है। सर्वेक्षण में कहा गया है कि यदि चालू खाता घाटा और बढ़ता है, तो यह रुपये पर और दबाव डाल सकता है। चालू खाता घाटा तब होता है जब किसी देश द्वारा आयात की जाने वाली वस्तुओं और सेवाओं का कुल मूल्य उसके द्वारा निर्यात की जाने वाली वस्तुओं और सेवाओं के कुल मूल्य से अधिक हो जाता है।