कांग्रेस सांसद राहुल गांधी और पार्टी के अन्य नेता असम के धुबरी के गोलकगंज चरियाली से अपनी भारत जोड़ो न्याय यात्रा गुरुवार को फिर से शुरू कर चुके हैं। असम में इस यात्रा को कई सारी रुकावटों का सामना राज्य की भाजपा सरकार से करना पड़ी। असम पुलिस द्वारा राहुल गांधी और उनके साथियों के खिलाफ दर्ज मामला अब सीआईडी को सौंप दिया गया है। भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं और पुलिस के बीच झड़प के बाद यह केस दर्ज किया गया था। कांग्रेस नेताओं ने राज्य के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा को राहुल को गिरफ्तार करने की चुनौती दी है।
असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा के बयान पर कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने गुरुवार को कहा- "उन्हें एफआईआर दर्ज करने दें। हम अपनी यात्रा जारी रखेंगे। उन्हें देश को धर्म और भाषा के आधार पर बांटने दें, हम अपनी भारत जोड़ो न्याय यात्रा के साथ देश को एक साथ लाएंगे। ...वह सबसे भ्रष्ट मुख्यमंत्री हैं और उनसे ही यह सब करने की उम्मीद की जाती है...।''
सरमा के बयान पर कांग्रेस सांसद अब्दुल खालिक ने कहा- "अगर उनमें गिरफ्तारी की हिम्मत है तो अभी करें। लोकसभा चुनाव के बाद क्यों। वह अपने राजनीतिक फायदे के लिए राज्य पुलिस का इस्तेमाल कर रहे हैं...।"
असम के सीएम सरमा ने बुधवार को कहा था- "राहुल की यात्रा का मुख्य उद्देश्य असम को अस्थिर करना है। अब वह धुबरी में न्याय यात्रा करना चाहते हैं। ऐसा करें, मुझे कोई आपत्ति नहीं है। हम उन्हें लोकसभा चुनाव के बाद गिरफ्तार करेंगे। अगर हम उन्हें उससे पहले गिरफ्तार करते हैं, तो यह राजनीतिकरण होगा। अब मामला दर्ज कर लिया गया है, एसआईटी जांच करेगी और हमारे पास सबूत हैं। कल गुवाहाटी में लोगों को बैरिकेड तोड़ने के लिए उकसाने के बाद एक बड़ी घटना हो सकती थी। हम लोकसभा चुनाव से पहले राजनीति नहीं करना चाहते हैं, क्योंकि हम यह चुनाव जीतने जा रहे हैं।”
हालांकि असम पुलिस प्रमुख जीपी सिंह ने ट्वीट में गुरुवार को कहा है कि मामले को "एसआईटी के माध्यम से गहन जांच" के लिए सीआईडी को ट्रांसफर कर दिया गया है। राहुल गांधी और अन्य कांग्रेस नेताओं पर भारतीय दंड संहिता की नौ धाराओं के तहत आरोप लगाए गए हैं, जिनमें दंगा, गैरकानूनी सभा और आपराधिक साजिश से संबंधित धाराएं शामिल हैं।
राहुल गांधी को रोकने के लिए शहर की सीमाओं पर पुलिस की एक बड़ी टुकड़ी तैनात की गई थी। लगभग 5,000 कांग्रेस कार्यकर्ता उनसे भिड़ गए, जिससे शहर की सीमा पर अराजक स्थिति पैदा हो गई। मुख्यमंत्री हिमंत सरमा ने आरोप लगाया कि कांग्रेस की "नक्सली रणनीति" के कारण बड़े पैमाने पर ट्रैफिक जाम हुआ।