आतंकवादी संगठन इसलामिक स्टेट यानी आईएस क्या भारत में अपनी जड़ें फैलाने की कोशिश में है? जानिए, दिल्ली के बटला हाउस से एक संदिग्ध के गिरफ़्तार होने के बाद क्या कहा एनआईए ने।
क्या तालिबान शासित अफ़ग़ानिस्तान में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा को लेकर आश्वस्त हुआ जा सकता है? जानिए, कई धार्मिक नेताओं के साथ बैठक में तालिबान ने क्या आश्वासन दिया है।
बीजेपी के नेताओं नूपुर शर्मा और नवीन जिंदल के द्वारा पैगंबर मोहम्मद साहब पर की गई टिप्पणियों के विरोध में क्या काबुल में स्थित गुरुद्वारे पर हमला किया गया?
इसलामिक स्टेट से जुड़ी एक पत्रिका ने दावा किया है कि जिस आत्मघाती हमलावर ने काबुल में विस्फोट किया था वह पाँच साल पहले भारत में गिरफ़्तार हो चुका था। उसे बाद में अफ़ग़ानिस्तान प्रत्यर्पित कर दिया गया था।
अफ़ग़ानिस्तान में इसलामिक स्टेट खुरासान के 25 आतंकवादियों की तलाश तालिबान प्रशासन कर रहा है औेर भारतीय सुरक्षा एजेन्सियां भी उन्हें तलाश रही हैं। क्या है मामला और कौन हैं ये लोग?
इसलामिक स्टेट खुरासान का मक़सद पहले मध्य पूर्व और उसके बाद भारत में इसलामी ख़िलाफ़त की स्थापना करना है। पर क्या होता है इसलामी ख़िलाफ़त? पढ़े प्रमोद मल्लिक का यह लेख।
अमेरिका ने रविवार को काबुल स्थित इसलामिक स्टेट खुरासान के ठिकाने पर ड्रोन से मिसाइल हमला किया। अमेरिका ने पहले ही चेतावनी देकर कहा था कि इसलामिक स्टेट एक बार फिर काबुल में कहीं हमला कर सकता है।
काबुल स्थित तुर्कमेनिस्तान दूतावास में विस्फोट की कोशिश में केरल से गए 14 आतंकवादियों के नाम हैं जो इसलामिक स्टेट खुरासान से जुड़ हुए थे।
गुरूवार को काबुल एयरपोर्ट के बाहर हुए बम धमाकों की जिम्मेदारी आईएस के गुट इसलामिक स्टेट ऑफ़ खोरासान या आईएस (के) ने ली है।
काबुल हवाई अड्डे पर हुए धमाकों से यह संकेत मिलता है कि इसलामिक स्टेट अब वहां पहले से अधिक मजबूती से उभर कर आ सकती है और तालिबान के ख़िलाफ़ बड़े पैमाने पर हिंसा फैला सकती है। पढ़ें, प्रमोद मल्लिक का यह लेख।
तालिबान ने अफ़ग़ानिस्तान के जेलों को खोल कर सभी क़ैदियों को रिहा कर दिया है, जिनमें अल क़ायदा और इसलामिक स्टेट यानी आईएसआईएस के आतंकवादी भी हैं।
एक हफ़्ते में, बेंगलुरू के बाद अब दिल्ली में ISIS आतंकी गिरफ्तार। क्या ISIS के निशाने पर है भारत? कितना बड़ा है ख़तरा?
आतंकी संगठन इसलामिक स्टेट के एक आतंकी को शुक्रवार रात को दिल्ली से गिरफ़्तार किया गया है। बताया गया है कि इस आतंकी ने दिल्ली में कई जगहों की रेकी की थी।
इसलामिक स्टेट ने केरल और कर्नाटक में अपनी ज़मीन बना ली है और बीच बीच में अपनी मौजूदगी का एहसास कराता रहता है।
भारत में कहाँ से आये इस्लामिक स्टेट के आतंकी? क्या है इनका मक़सद और कौन है इनका सरगना ! एक रिपोर्ट।
संयुक्त राष्ट्र ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि केरल और कर्नाटक में इसलामिक स्टेट के सदस्य बड़ी तादाद में मौजूद हैं।
एनआईए ने सोमवार को दाखिल चार्जशीट में कहा है कि इसलामिक स्टेट तेज़ी से भारत में पैर पसार रहा है और उसका मक़सद शरीआ से चलने वाले ख़िलाफ़ की स्थापना करना है।
पुलिस कुख़्यात आतंकवादी संगठन इसलामिक स्टेट (आईएस) से जुड़े दंपति से पूछताछ में जुटी हुई है।
पुलिस ने जम्मू-कश्मीर के रहने वाले एक जोड़े को दक्षिण दिल्ली से गिरफ़्तार किया है, जिसके बारे में उसका कहना है कि वे दोनों आतंकवादी हैं
इसलामिक स्टेट के लोग भारत में कहीं भी, कभी भी, किसी भी रूप में हमले कर सकते हैं, जिसे लोन वुल्फ़ अटैक कहते हैं। गृह मंत्रालय ने हाई अलर्ट जारी कर दिया है।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा पाँच दिन पहले अबू बकर अल बग़दादी की मौत की घोषणा किए जाने के बाद अब आईएसआईएस ने अमेरिका को चेतावनी दी है। इसने कहा है कि अमेरिका को वह पुराने दिनों का स्वाद चखा देगा।
अबु बकर अल बग़दादी को आईएसआईएस ऑपरेटिव ने ही मरवा दिया। यानी घर का लंका भेदी ढाए। सूचना देने वाले ने अपने ही नेता बग़दादी को अमेरिका के लिए शिकार क्यों बना दिया?
आतंकी संगठन इसलामिक संगठन यानी आईएसआईएस सरगना बग़दादी मारा गया। तो क्या इसके साथ ही आईएसआईएस की कहानी भी ख़त्म हो गई?
अमेरिकी सेनाओं ने बग़दादी को मारने के लिए सीरिया में आधी रात को उसके परिसर पर हमला किया। ट्रंप ने भी ख़ुद सामने आकर इसका एलान किया है।
दुनिया में मुसलमानों की आबादी भारत में सबसे ज़्यादा है पर इसलामिक स्टेट से इक्का-दुक्का ही भारतीय मुसलमान जुड़े। जबकि इंग्लैंड और दूसरे यूरोपीय देशों में काफ़ी अधिक संख्या में मुसलमान युवा इसलामिक स्टेट में शामिल हुए और आतंक का रास्ता पकड़ा।
आख़िरकार कुख्यात आतंकवादी संगठन आईएसआईएस का सरगना अबु बकर-अल बग़दादी मारा गया। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने रविवार को इसका एलान किया।