भारत के किसान आंदोलन के साथ ग्रेटा तनबर्ग (थनबर्ग) के खड़े होने से मुश्किलें किसानों की भी बढ़ती दिख रही हैं और भारत सरकार की भी। भारत सरकार को देश की वैश्विक छवि की चिंता है तो आंदोलनकारी किसानों को अपने देश से भावनात्मक लगाव बनाए और बचाए रखने की। मगर, सियासत अगर किसी की मज़बूत हो रही है या होने वाली है तो वह सत्ताधारी बीजेपी की ही है। अन्य किसी दल को इस प्रकरण से कोई सियासी फायदा नहीं होने वाला है, उल्टे उनका सियासी नुक़सान होगा।