पाकिस्तान में आख़िर क्या चल रहा है? नेशनल एसेंबली के भंग करने की घोषणा और फिर इमरान ख़ान की गिरफ़्तारी। जानिए, इन घटनाओं का भारत पर कैसा असर हो सकता है।
कट्टरता और भ्रष्टाचार ने आज पाकिस्तान को जिस स्थिति में पहुंचा दिया है, उससे सबक लेने की जरूरत पड़ोसी मुल्कों को है। ऐटम बम और कश्मीर के मसले ने पाकिस्तान के अस्तित्व पर सवाल खड़े कर दिए हैं। जनता को लंबे समय तक ऐसे फर्जी वादों और इरादों से फुसलाया नहीं जा सकता।
हुकूमत से हटने के बाद से ही इमरान खान की मुश्किलें बढ़ गई हैं। पीटीआई के नेताओं और कार्यकर्ताओं पर मुक़दमे दर्ज हो रहे हैं। इमरान इन मुश्किलों से कैसे निपटेंगे?
पीटीआई की हुकूमत के गिरने के बाद से ही कमर जावेद बाजवा के साथ ही सुप्रीम कोर्ट भी पीटीआई के समर्थकों के निशाने पर है।
यह प्रदर्शन इस्लामाबाद, कराची, पेशावर, मुल्तान, खैबर, क्वेटा आदि शहरों में हुए।
पाकिस्तान की हुकूमत से इमरान खान की विदाई हो गई है लेकिन अब जो नई हुकूमत आएगी वह क्या मुल्क के भीतर कुछ बदलाव कर पाएगी?
पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने नेशनल असेम्बली से इस्तीफा देने का फैसला किया है। पीटीआई सुप्रीमो इमरान खान ने कहा है कि आजादी की लड़ाई फिर शुरू होगी।
पाकिस्तान में नए प्रधानमंत्री का चुनाव कल होगा। पीटीआई ने पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी को पीएमएल - एन के शाहबाज शरीफ के मुकाबले उतारने की घोषणा की है।
पीटीआई चीफ इमरान खान ने पार्टी की कोर कमेटी की बैठक बुलाई है। जिसमें वो आगामी रणनीति तय करेंगे।
पाकिस्तान की नेशनल असेम्बली में कल नए प्रधानमंत्री का चुनाव किया जाएगा।
इमरान ख़ान सरकार के दौरान विरोधियों के ख़िलाफ़ जिस तरह कार्रवाई की गई उससे सवाल उठ रहे थे कि अब नयी सरकार में क्या होगा? जानिए, शहबाज शरीफ ने क्या कहा है।
पाकिस्तान की नेशनल असेंबली में जब शनिवार रात को विपक्ष द्वारा लाए गए अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग हो रही थी तो क्या इमरान को अंदाजा था कि वह पाकिस्तान में इतिहास रचने जा रहे हैं?
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान ख़ान को जब पहले से ही अविश्वास प्रस्ताव पर हार का अंदेशा था तो वह आख़िरी गेंद तक खेलने की बात क्यों करते रहे थे?
शहबाज़ शरीफ को वज़ीर-ए-आज़म पद के लिए पाकिस्तान डेमोक्रेटिक मूवमेंट यानी पीडीएम की ओर से उम्मीदवार भी बनाया गया है।
पाकिस्तान में हुकूमत चलाने के लिए 172 सांसदों की जरूरत है। लेकिन यह साफ दिख रहा है कि इमरान इतने सांसद नहीं जुटा सकते। लेकिन इमरान खान हर पैंतरा बदल रहे हैं।
पाकिस्तान में पीएम इमरान खान को गहरा धक्का लगा है। सुप्रीम कोर्ट ने संसद में लाए गए विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को रद्द करने के फैसले को असंवैधानिक करार दिया। राष्ट्रपति के संसद को भंग करने के फैसले को भी गलत ठहराया।
पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट आज रात 8 बजे देश में चल रहे संवैधानिक संकट पर अपना फैसला सुनाएगी। सुप्रीम कोर्ट ने आज सुनवाई के दौरान यह महत्वपूर्ण टिप्पणी की है कि पाकिस्तान नेशनल असेम्बली में विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को रद्द करना गलत था। डिप्टी स्पीकर कासिम खान सूरी ने ऐसा करके गलत किया है।
अगर पाकिस्तान की सुप्रीम कोर्ट इमरान के हक में फैसला सुनाती है तो मुल्क में 90 दिनों के अंदर चुनाव हो सकते हैं।
पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने एनएससी मीटिंग के बारे में जानकारी मांगी। एनएससी बैठक में इमरान खान ने एक विदेशी पत्र का हवाला देकर कहा था कि विदेशी ताकत उनकी सरकार गिराना चाहती है।
पाकिस्तान में राष्ट्रपति डॉ आरिफ अल्वी ने चुनाव आयोग से चुनाव की तारीखें सुझाने को कहा है। चुनाव आयोग को अब कोई न कोई फैसला लेना पड़ेगा।
इमरान खान सरकार के खिलाफ रद्द किए गए अविश्वास प्रस्ताव के मामले में सुप्रीम कोर्ट में बुधवार को भी सुनवाई होगी।
इमरान खान बीते दिनों में कई बार इस बात को कह चुके हैं कि उनकी हुकूमत को गिराने की साजिश में विदेशी ताकतें शामिल हैं।
पाकिस्तान में केयरटेकर पीएम यानी कार्यवाहक राष्ट्रपति बनाने की प्रक्रिया शुरू हो गई है। जानिए, कैसे नियुक्त किया जाएगा और क्या विपक्ष इसमें शामिल होगा।
इमरान ने इस राजनयिक का नाम डोनाल्ड एलयू बताया है। उन्होंने इस्लामाबाद की रैली में एक पत्र लहराते हुए कहा था कि उनके पास इस बात के सबूत हैं कि उनकी सरकार को गिराने की साजिश की गई।
पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट ने इमरान ख़ान के ख़िलाफ़ अविश्वास प्रस्ताव को रद्द करने और इसके बाद नेशनल असेंबली को भंग करने के फ़ैसले पर सवाल उठाए हैं। जानिए सुप्रीम कोर्ट ने क्या क्या कहा।
पाकिस्तान में क्या आज फिर से सत्ता बदलेगी? क्या इमरान ख़ान अविश्वास प्रस्ताव पर वोटिंग में अपनी सरकार बचाने में कामयाब होंगे?