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मणिपुर को लेकर राहुल गांधी का पीएम मोदी पर तीखा अटैक

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज 15 जुलाई को पीएम मोदी पर मणिपुर को लेकर तीखा हमला बोला। राहुल का कहन है कि मणिपुर जल रहा है, प्रधानमंत्री चुप और अब जब इस पर यूरोपियन यूनियन की संसद ने चर्चा करके आलोचना की है, तब भी प्रधानमंत्री चुप हैं। पीएम मोदी इस समय विदेश यात्रा पर हैं। वो दो दिन की फ्रांस यात्रा के बाद यूएई की यात्रा पर हैं। राहुल गांधी का यह हमला विपक्षी एकता बैठक से पहले आया है। राहुल का बयान इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि फ्रांस भी यूरोपियन यूनियन का सदस्य है। देखा जाए तो यूरोपियन यूनियन की संसद ने मणिपुर पर जो प्रस्ताव पास किया है, उससे फ्रांस भी सहमत है।

'यह महज़ संयोग नहीं...'

बीजेपी ने राहुल गांधी के ट्वीट पर चुटकी लेते हुए कहा कि यह महज संयोग नहीं हो सकता कि राहुल गांधी के लंदन दौरे के तुरंत बाद ईयू संसद ने मणिपुर का मुद्दा उठाया।
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भाजपा प्रवक्ता अमित मालवीय ने कहा कि "राहुल गांधी लंदन जाते हैं और भारत के आंतरिक मामलों में विदेशी हस्तक्षेप की मांग करते हैं। फिर वह मणिपुर में दुर्भाग्यपूर्ण संघर्ष का राजनीतिकरण करते हैं, जो पूरी तरह से कांग्रेस की विरासत है। फिर वो (राहुल) मणिपुर का दौरा करते हैं और इसके बाद हम देखते हैं कि एक विदेशी शक्ति इस मुद्दे पर फैसला सुनाना चाहती है। यह भारत का आंतरिक मामला है। दिलचस्प बात यह है कि यूरोपीय संघ की संसद ने फ्रांस में हाल के दंगों पर कोई बहस या चर्चा नहीं की।"

यूरोपियन यूनियन की संसद का प्रस्ताव क्या है

उधर, पीएम मोदी की यात्रा से ठीक पहले, यूरोपीय संसद ने एक प्रस्ताव पारित किया, जिसमें भारत सरकार से मणिपुर में हिंसा को रोकने के लिए प्रयास तेज करने को कहा गया। हालांकि भारतीय विदेश मंत्रालय ने इस पर जवाब देते हुए कहा कि यूरोपीय संघ द्वारा मणिपुर पर प्रस्ताव उसकी औपनिवेशिक मानसिकता को दर्शाता है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा, "भारत के आंतरिक मामलों में इस तरह का हस्तक्षेप अस्वीकार्य है और औपनिवेशिक मानसिकता को दर्शाता है।" बागची ने कहा कि "न्यायपालिका सहित सभी स्तरों पर भारतीय अधिकारी मणिपुर की स्थिति से अवगत हैं और शांति और सद्भाव तथा कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए कदम उठा रहे हैं। यूरोपीय संसद को सलाह दी जाती है कि वह अपने आंतरिक मुद्दों पर अपने समय का अधिक सदुपयोग करे।"

भारतीय विदेश सचिव विनय क्वात्रा ने कहा कि भारत ने मणिपुर पर प्रस्ताव से पहले यूरोपीय संघ के सांसदों से संपर्क किया था, और बताया था कि यह भारत का 'आंतरिक मामला' है।
पीएम मोदी ने कुछ नहीं कहाः पीएम मोदी अभी तक मणिपुर की हिंसा पर चुप हैं। हालांकि विपक्ष के प्रमुख नेता राहुल गांधी मणिपुर की यात्रा करके आ चुके हैं। पूरा विपक्ष प्रधानमंत्री के बयान की मांग कर रहा है। लेकिन मणिपुर पर बिना कुछ बोले पीएम मोदी 13 जुलाई को फ्रांस चले गए थे।
पीएम मोदी शुक्रवार को फ्रांस में बैस्टिल डे परेड में बतौर मेहमान शामिल हुए थे। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज शनिवार को कहा कि राफेल ने पीएम मोदी को बैस्टिल डे परेड का टिकट दिला दिया, जबकि मणिपुर जल रहा है और यूरोपीय संघ की संसद भारत के आंतरिक मामले पर चर्चा कर रही है। पीएम ने दोनों मुद्दों पर चुप्पी साधी हुई है। फ्रांस में हुई परेड में 269 ​​सदस्यीय भारतीय दल ने में भाग लिया और भारतीय वायु सेना के तीन राफेल जेट फ्लाईपास्ट में शामिल हुए।

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पीएम मोदी ने अपनी फ्रांस यात्रा का जिक्र बार-बार किया लेकिन मणिपुर पर यूरोपियन यूनियन संसद में हुई चर्चा पर वो नहीं बोले। मोदी ने कहा- “फ्रांस की यह यात्रा यादगार रही। इसे और भी विशेष बना दिया गया क्योंकि मुझे बैस्टिल दिवस समारोह में भाग लेने का अवसर मिला। भारतीय दल को परेड में गौरवपूर्ण स्थान पाते देखना अद्भुत था। मैं असाधारण गर्मजोशी और आतिथ्य के लिए राष्ट्रपति @EmmanuelMacron और फ्रांसीसी लोगों का आभारी हूं। भारत-फ्रांस की दोस्ती आगे बढ़ती रहे!”

पीएम मोदी की फ्रांस यात्रा के दौरान आईएनएस विक्रांत पोत के लिए 26 राफेल समुद्री लड़ाकू विमान खरीदने की घोषणा की गई।

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क़मर वहीद नक़वी
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