आम नागरिकों की हत्या में हुई वृद्धि से देश जम्मू-कश्मीर की नई सचाई से रूबरू हुआ है। अल्पसंख्यक समुदाय के तीन लोगों को चुन कर निशाना बनाने और मारने से चौंके हुए शेष भारत के लोगों ने पूछना शुरू किया है, कश्मीर में यकायक स्थिति बदतर क्यों हो रही है?
सरकार और मीडिया कश्मीर की सचाई पर पर्दा डाल रहे हैं?

क्या जम्मू-कश्मीर के बारे में यह झूठा नैरेटिव गढ़ा गया है कि अनुच्छेद 370 ख़त्म करने के बाद स्थिति सामान्य हो गई है?
कश्मीर में रहने वाले लोग भी हतप्रभ हैं, लेकिन वे आश्चर्यचकित नहीं हैं। उनका कहना है कि यह तो होना ही था। सवाल किए जाने पर वे पलट कर पूछते हैं, क्या कश्मीर में स्थिति कभी ठीक थी? क्या आपकी सरकार आपको कश्मीर के बारे में झूठ बताती रही है?
नरेंद्र मोदी की अगुआई वाली बीजेपी सरकार नवंबर 2019 से ही लगातार जम्मू-कश्मीर में 'स्थिति सामान्य' होने का नैरेटिव रच रही है और इसे अनुच्छेद 370 और 35 'ए' से जोड़ कर पेश कर रही है। इन धाराओं से कश्मीर में शांति, विकास और समृद्धि आई थी।