असम को सांप्रदायिक सौहार्द्र वाला राज्य माना जाता है और इस राज्य में सर्व धर्म समभाव की लंबी परंपरा रही है। असम में भूमि और जातीय पहचान को लेकर समय-समय पर भले ही हिंसक संघर्ष होते रहे हैं, लेकिन सांप्रदायिक आधार पर संघर्ष का कोई इतिहास नहीं रहा है।