केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्द्धन ने योग गुरु रामदेव को एक कड़ी चिट्ठी लिख कर फटकार लगाई है और एलौपैथी डॉक्टरों पर दिए गए बयान को वापस लेने को कहा है।
योग गुरु रामदेव फिर विवादों में हैं। इस बार उन्होंने कथित तौर पर एलोपैथी को स्टूपिड और दिवालिया साइंस कहा है। सोशल मीडिया पर उनका बयान वायरल हुआ तो इंडियन मेडिकल एसोसिएशन यानी आईएमए ने कार्रवाई की मांग की है।
कोरोनिल पर अब विवाद इसके सर्टिफिकेट और दावों पर हुआ है। 19 फ़रवरी को ही केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी की मौजूदगी में कई दावे किए गए थे।
स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्द्धन और परिवहन मंत्री नितिन गडकरी की मौजूदगी में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रामदेव व कंपनी से जुड़े अधिकारी बाल कृष्ण ने दवा की खोज का दावा किया, लेकिन इस कथित दवा के पैकेट पर उसे ‘सपोर्टिंग मेज़र’ कहा गया है, दवा नहीं।