पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राज्य में 27 जुलाई से साल भर चलने वाला भाषा आंदोलन शुरू करने का एलान किया है। उनके मुताबिक, यह बीजेपी शासित राज्यों में बांग्लाभाषी लोगों के उत्पीड़न के विरोध और इस भाषा के सम्मान की रक्षा के लिए ज़रूरी है। खुद ममता 28 जुलाई को रवींद्रनाथ टैगोर की कर्मभूमि बोलपुर से इस आंदोलन में शरीक होंगी। लेकिन भाजपा ने सवाल किया है कि आख़िर बांग्ला भाषा की रक्षा का ठेका ममता को किसने दिया है?