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छत्तीसगढ़ में माओवादियों से मुठभेड़ में 22 जवान शहीद, 12 ज़ख़्मी

छत्तीसगढ़ के बस्तर इलाक़े में शनिवार को माओवादियों और केंद्रीय सुरक्षा बलों के बीच हुई मुठभेड़ में सुरक्षा बलों के मारे गए जवानों की संख्या बढ़ कर 22 हो गई। इसके अलावा 12 जवान बुरी तरह ज़ख़्मी हो गए हैं जबकि एक अभी भी लापता है। कई माओवादी भी मारे गए हैं, पर उनकी संख्या का पता नहीं चला है। बस्तर के बीजापुर ज़िले के तारेम इलाके में यह मुठभेड़ हुई है।

छत्तीसगढ़ के पुलिस महानिदेशक डी. एम. अवस्थी ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा है कि मुठभेड़ सुकमा और बीजापुर सीमा के पास तारेम इलाक़े में शुरू हुआ। सुरक्षा बलों की कई यूनिटों की साझा टीम माओवादियों के तलाशी अभियान पर निकली थी।

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इस संयुक्त अभियान में सीआरपीएफ की कोबरा कमांडो टीम, डिस्ट्रिक्ट रिज़र्व गार्ड, और स्पेशल टास्क फोर्स के जवान व अफसर शामिल थे। 

22 cops killed in chhattisgarh, bastar, in encounter with maoists - Satya Hindi
नक्सल विरोधी अभियान के महानिदेशक अशोक जुनेजा ने 'एनडीटीवी' से कहा कि इस मुठभेड़ में नक्सलियों को भारी जानमाल का नुक़सान पहुँचा है। 

गृह मंत्री ने जताया शोक

गृह मंत्री अमित शाह ने मारे गए जवानों को ट्वीट कर श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा, "मैं छत्तीसगढ़ में माओवादियों से लड़ते हुए शहीद हुए हमारे वीर सुरक्षाकर्मियों के बलिदान को नमन करता हूँ। राष्ट्र उनके शौर्य को कभी नहीं भूलेगा। मैं उनके परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूँ। हम शांति और प्रगति के इन दुश्मनों (नक्सलियों) के ख़िलाफ़ अपनी लड़ाई जारी रखेंगे। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूँ।"
अमित शाह ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को फ़ोन करके बीजापुर में हुई मुठभेड़ पर विस्तार से चर्चा की है। 

गृह मंत्रालय करेगा बैठक

'आज तक' ने सूत्रों के हवाले से कहा है कि गृह मंत्री अमित शाह असम के चुनावी दौरे से लौट कर दिल्ली में एक ब़ड़ी बैठक करेंगे। समझा जाता है कि इसमें माओवादियों के ख़िलाफ़ किसी बड़ी कार्रवाई पर विचार किया जाएगा। इस मुठभेड़ की जाँच का काम राष्ट्रीय जाँच एजेन्सी यानी एनआईए को सौंपा जा सकता है। 

इस बैठक में गृह सचिव सीआरपीएफ के अधिकारी, ख़ुफ़िया विभाग के वरिष्ठ अधिकारी और संयुक्त सचिव, लेफ्ट विंग एक्सट्रीमिस्ट भी मौजूद रहेंगे। 

इसके पहले जुलाई 2020 में ओडिशा के कंधमाल में रविवार सुबह सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में चार माओवादी मारे गए थे। 

ओडिशा पुलिस ने कहा था कि जंगल की तलाशी अभियान के दौरान सुरक्षाबलों को माओवादियों के छिपे होने की जानकारी मिली। सुरक्षाबलों ने गोलियाँ चलाईं तो माओवादियों की तरफ से भी गोलीबारी हुई। इसके बाद चली मुठभेड़ में 4 माओवादी मारे गए।

सुरक्षा बलों ने 2 जुलाई को ओडिशा के कंधमाल जिले के जंगल में माओवादियों के शिविर का का पता लगाया था। एक वरिष्ठ पुलिस अफ़सर ने एनडीवी से कहा कहा कि पुलिस ने विस्फोटक और अन्य सामान जब्त किए थे। इसके अलावा शिविर से अन्य सामान जैसे बैग, जूते, दस्तावेज और माओवादी साहित्य आदि भी बरामद किया गया था।  
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क़मर वहीद नक़वी
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