महान स्वतंत्रता सेनानी सुभाष चंद्र बोस की मौत का रहस्य एक बार फिर चर्चा में है। उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा गठित किए गए जस्टिस विष्णु सहाय जाँच आयोग ने अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंप दी है। इस रिपोर्ट का कहना है कि फ़ैज़ाबाद के गुमनामी बाबा नेताजी सुभाष चंद्र बोस नहीं थे। इस रिपोर्ट को सार्वजनिक नहीं किया गया है। योगी आदित्यनाथ की सरकार ने रिपोर्ट को विधानसभा की पटल पर रखने का फ़ैसला कर लिया है।

महान स्वतंत्रता सेनानी सुभाष चंद्र बोस की मौत का रहस्य एक बार फिर चर्चा में है। कई जाँच कमेटी और आयोग, स्वतंत्र जाँचकर्ता और कई देशों के जाँच अधिकारी सुभाष चंद्र बोस की मौत की पुष्टि कर चुके हैं। लेकिन नेताजी के समर्थक यह मानने को तैयार नहीं हैं कि नेताजी की मृत्यु हो चुकी है। इनमें से कई लोगों का दावा है कि नेताजी ज़िंदा हैं। नेताजी के जन्मदिन पर पेश है वरिष्ठ पत्रकार आशुतोष का विश्लेषण।
पत्रकारिता में एक लंबी पारी और राजनीति में 20-20 खेलने के बाद आशुतोष पिछले दिनों पत्रकारिता में लौट आए हैं। समाचार पत्रों में लिखी उनकी टिप्पणियाँ 'मुखौटे का राजधर्म' नामक संग्रह से प्रकाशित हो चुका है। उनकी अन्य प्रकाशित पुस्तकों में अन्ना आंदोलन पर भी लिखी एक किताब भी है।