राष्ट्रपति के चुनाव के लिए एनडीए और विपक्ष के बीच क्या आम सहमति बन पाएगी? दूसरी ओर, यदि विपक्ष एकजुट नहीं हुआ तो एनडीए के उम्मीदवार की जीत आसान हो जाएगी।
कार्तिकेय शर्मा के चुनाव जीतने से साफ समझ आता है कि उन्हें बीजेपी-जेजेपी के अलावा निर्दलीयों, छोटी पार्टियों के विधायकों का साथ मिला है और कांग्रेस विधायकों ने भी क्रॉस वोटिंग की है।
राष्ट्रपति के चुनाव में विपक्ष एकजुट होकर उम्मीदवार उतारेगा या वह बिखरा हुआ नजर आएगा। यदि विपक्ष एकजुट नहीं हुआ तो एनडीए के उम्मीदवार की जीत आसान हो जाएगी।
बीजेपी नेता नूपुर शर्मा और नवीन जिन्दल की टिप्पणी से पहुंचे नुकसान की भरपाई के लिए बीजेपी ने अपने प्रवक्ताओं और पैनलिस्टों के लिए कोई गाइडलाइन बनाई है। लेकिन इस गाइडलाइन को वो आधिकारिक रूप से नहीं बता रही है। मीडिया को सूत्रों के जरिए जानकारी दी गई है।
दूसरी ओर, विपक्षी दलों को डर है कि बीजेपी उनके विधायकों में सेंध लगा सकती है। राज्यसभा चुनाव कांग्रेस के लिए एक और कठिन इम्तिहान है और देखना होगा कि क्या वह इस इम्तिहान में पास होगी या नहीं।