राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ यानी आरएसएस का दावा है कि उसने आपातकाल का बहादुरी के साथ मुक़ाबला किया और भारी दमन का सामना किया। उस दौर के अनेक कथानक हैं, जो आरएसएस के इन दावों को झुठलाते हैं। यहाँ हम ऐसे दो दृष्टांतों का उल्लेख कर रहे हैं। इनमें से एक वरिष्ठ पत्रकार और विचारक प्रभाष जोशी हैं और दूसरे, पूर्व खुफिया ब्यूरो (आईबी) के उप प्रमुख टी. वी. राजेश्वर है। आपातकाल जिस समय घोषित किया गया था राजेश्वर आईबी के उप प्रमुख थे।
संघ ने इमर्जेंसी का किया था समर्थन, स्वयंसेवकों ने माँगी थी माफ़ी
- विचार
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- 26 Jun, 2019

इंदिरा गांधी ने 25-26 जून, 1975 को देश में आपातकाल घोषित किया था। यह 19 महीने तक लागू रहा। इस दौर को काले दिन के रूप में याद किया जाता है। इंदिरा गांधी का दावा था कि जयप्रकाश नारायण ने सशस्त्र बलों से कहा था कि कांग्रेस शासकों के 'अवैध' आदेशों को नहीं मानें। इसने देश में अराजकता की स्थिति उत्पन्न कर दी और भारतीय गणतंत्र का अस्तित्व खतरे में पड़ गया था। इसलिए संविधान के अनुच्छेद 352 के तहत आपातकाल घोषित करने का विकल्प नहीं बचा था।