loader

यूपी: नेपाली युवक का सिर मुड़ाया, लगवाए ‘जय श्री राम’ और ‘केपी ओली मुर्दाबाद’ के नारे 

उत्तर प्रदेश के वाराणसी में एक नेपाली युवक का सिर जबरन मुड़वा दिया गया। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। वाराणसी के रहने वाले अरुण पाठक ने इसे फ़ेसबुक पर शेयर किया था। बताया गया है कि पाठक विश्व हिंदू सेना नाम के संगठन का राष्ट्रीय अध्यक्ष है। 

इस मामले में नेपाल के राजदूत निलांबर आचार्य ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से बात की है। बताया गया है कि मुख्यमंत्री ने घटना के लिए जिम्मेदार लोगों के ख़िलाफ़ कड़ी कार्रवाई करने की बात कही है। 

वीडियो में दिख रहा है कि नेपाली युवक का सिर मुड़वाया जा रहा है और उसके सिर पर जय श्री राम लिख दिया गया। इसके अलावा युवक से जय श्री राम, नेपाली प्रधानमंत्री केपी ओली मुर्दाबाद और हिंदुस्तान जिंदाबाद के नारे भी लगवाए गए। इस दौरान वहां खड़े बाक़ी लोगों ने भी जमकर नारेबाज़ी की। 

ताज़ा ख़बरें

पुलिस ने कहा है कि अरुण पाठक व उसके साथियों के ख़िलाफ़ एफ़आईआर दर्ज कर ली गई है और चार लोगों को गिरफ़्तार किया गया है। पुलिस ने बताया है कि बाक़ी लोगों की तलाश की जा रही है और मामले में कठोर कार्रवाई की जाएगी। 

बीते कुछ दिनों से भारत-नेपाल के संबंधों में जारी कड़वाहट इस वीडियो के सामने आने के बाद और बढ़ सकती है। 

नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के इस हालिया बयान पर कि भगवान राम भारतीय नहीं, नेपाली थे, भारत में ख़ूब विवाद हुआ था। नेपाली मीडिया में आई ख़बरों के मुताबिक़ ओली ने कहा था कि असली अयोध्या नेपाल में है न कि भारत में। 

ओली ने यह भी कहा था कि भगवान राम का जन्मस्थान अयोध्या में नहीं है बल्कि नेपाल के वाल्मीकि आश्रम के पास है। इसे लेकर भारत में साधु-संतों ने नाराजगी जताई थी।

हाल ही में नेपाल के केबल टेलीविजन ऑपरेटर्स ने भारत के न्यूज़ चैनल्स को सस्पेंड कर दिया था। इसका कारण यह बताया गया कि भारतीय न्यूज़ चैनल्स ने देश के प्रधानमंत्री केपी ओली को लेकर आपत्तिजनक रिपोर्टिंग की है। नेपाल के केबल टेलीविजन ऑपरेटर्स के मुताबिक़, एक भारतीय न्यूज़ चैनल की ख़बर में कहा गया कि चीनी राजदूत और प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के रिश्तों की वजह से नेपाल का भारत के साथ विवाद हो रहा है। 

नेपाल के सीमांत इलाक़े के नजदीक भारत ने लिपुलेख के रास्ते कैलाश मानसरोवर तक जाने के लिए 80 किलोमीटर का सड़क मार्ग बनाया है। इस साल मई में इस सड़क मार्ग के उद्घाटन के बाद से ही नेपाल लगातार भारत विरोधी बयान दे रहा है। 

उत्तर प्रदेश से और ख़बरें

नेपाल अपने नए राजनीतिक नक्शे को लेकर भारत को आंखें दिखा चुका है। इस नक्शे में लिपुलेख, कालापानी और लिम्पियाधुरा को नेपाल का हिस्सा बताया गया है। इस नक्शे को संसद से मंजूरी के बाद राष्ट्रपति से भी स्वीकृति मिल गई है। इसका सीधा मतलब यह है कि नेपाल भारत की नाराज़गी की परवाह नहीं करता और इस बात को वहां के प्रधानमंत्री के.पी.ओली भी कह चुके हैं।

राजनीतिक नक्शे को पास करने के अलावा भी नेपाल ने भारत विरोधी दो क़दम उठाए हैं। हाल ही में उसने एक क़ानून पारित किया है जिसके तहत विदेशी महिलाओं को नेपाली पुरूषों से शादी करने के 7 साल बाद वहां की नागरिकता मिलेगी। नेपाल के इस क़दम को इसलिए भारत विरोधी माना जा रहा है क्योंकि दोनों देशों के बीच शादी-विवाह ख़ूब होते हैं। एक और मामले में नेपाल ने अड़ियल रूख़ दिखाते हए बिहार में गंडक नदी के बांध की मरम्मत के काम के लिए अनुमति नहीं दी थी।
सत्य हिन्दी ऐप डाउनलोड करें

गोदी मीडिया और विशाल कारपोरेट मीडिया के मुक़ाबले स्वतंत्र पत्रकारिता का साथ दीजिए और उसकी ताक़त बनिए। 'सत्य हिन्दी' की सदस्यता योजना में आपका आर्थिक योगदान ऐसे नाज़ुक समय में स्वतंत्र पत्रकारिता को बहुत मज़बूती देगा। याद रखिए, लोकतंत्र तभी बचेगा, जब सच बचेगा।

नीचे दी गयी विभिन्न सदस्यता योजनाओं में से अपना चुनाव कीजिए। सभी प्रकार की सदस्यता की अवधि एक वर्ष है। सदस्यता का चुनाव करने से पहले कृपया नीचे दिये गये सदस्यता योजना के विवरण और Membership Rules & NormsCancellation & Refund Policy को ध्यान से पढ़ें। आपका भुगतान प्राप्त होने की GST Invoice और सदस्यता-पत्र हम आपको ईमेल से ही भेजेंगे। कृपया अपना नाम व ईमेल सही तरीक़े से लिखें।
सत्य अनुयायी के रूप में आप पाएंगे:
  1. सदस्यता-पत्र
  2. विशेष न्यूज़लेटर: 'सत्य हिन्दी' की चुनिंदा विशेष कवरेज की जानकारी आपको पहले से मिल जायगी। आपकी ईमेल पर समय-समय पर आपको हमारा विशेष न्यूज़लेटर भेजा जायगा, जिसमें 'सत्य हिन्दी' की विशेष कवरेज की जानकारी आपको दी जायेगी, ताकि हमारी कोई ख़ास पेशकश आपसे छूट न जाय।
  3. 'सत्य हिन्दी' के 3 webinars में भाग लेने का मुफ़्त निमंत्रण। सदस्यता तिथि से 90 दिनों के भीतर आप अपनी पसन्द के किसी 3 webinar में भाग लेने के लिए प्राथमिकता से अपना स्थान आरक्षित करा सकेंगे। 'सत्य हिन्दी' सदस्यों को आवंटन के बाद रिक्त बच गये स्थानों के लिए सामान्य पंजीकरण खोला जायगा। *कृपया ध्यान रखें कि वेबिनार के स्थान सीमित हैं और पंजीकरण के बाद यदि किसी कारण से आप वेबिनार में भाग नहीं ले पाये, तो हम उसके एवज़ में आपको अतिरिक्त अवसर नहीं दे पायेंगे।
क़मर वहीद नक़वी
सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें

अपनी राय बतायें

उत्तर प्रदेश से और खबरें

ताज़ा ख़बरें

सर्वाधिक पढ़ी गयी खबरें