क्या रूस के राष्ट्रपति यूक्रेन में युद्ध से हाथ वापस लेंगे? क्या प्रधानमंत्री मोदी की की सलाह और चीन के राष्ट्रपति द्वारा युद्ध पर चिंता जताए जाने के बाद पुतिन पिघलेंगे?
भारत ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में पहली बार रूस के खिलाफ वोट किया। इसे क्या माना जाए, क्या अमेरिका और अन्य पश्चिमी देशों के दबाव में भारत की रूस नीति बदल रही है।
चीन की यात्रा के बाद भारत के दौरे पर आए रूस के विदेश मंत्री भारत की स्वतंत्र विदेश नीति की तारीफ़ क्यों कर रहे हैं और क्यों कह रहे हैं कि वह भारत को उसकी ज़रूरत की चीज देने को तैयार हैं?
यूक्रेन संकट पर क्या भारत का रूख साफ़ नहीं है? और क्या संयुक्त राष्ट्र में रूस की निंदा करने वाले प्रस्ताव से खुद को अलग करने के कारण भारत असहज स्थिति में है? या गुट निरपेक्षता का रास्ता ही सबसे उपयुक्त है?
रूस को लग रहा है कि अमेरिका रूस और चीन को अलग-थलग करके अपना वर्चस्व कायम करने के इरादे से भारत को मोहरा बना रहा है। क्या इसमें कुछ सचाई है और अगर है तो भारत और रूस के संबंधों पर इसका क्या असर पड़ सकता है? वरिष्ठ पत्रकार मुकेश कुमार की रिपोर्ट